पांच राफेल विमानों का पहला जत्था 29 जुलाई को भारत पहुंचा था. इससे करीब चार साल पहले भारत ने फ्रांस के साथ 59,000 करोड़ रुपये की लागत से ऐसे 36 विमानों की खरीद के लिए अंतर सरकारी समझौते पर हस्ताक्षर किए थे.
राजनाथ सिंह तेहरान पहुंच गये जहां वह अपने ईरानी समकक्ष से मुलाकात कर द्विपक्षीय रक्षा संबंधों पर चर्चा करेंगे. इससे पहले उन्होंने फारस की खाड़ी के देशों से अपने मतभेदों को परस्पर सम्मान के आधार पर बातचीत से सुलझाने का अनुरोध किया था.
सिंह के कार्यालय ने ट्वीट किया, ‘रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और चीनी रक्षा मंत्री जनरल वेई फेंगही के बीच मॉस्को में बैठक समाप्त हुई. यह बैठक दो घंटे 20 मिनट तक चली.’
पैंगोंग झील के दक्षिणी और उत्तरी दोनों किनारों पर भारत द्वारा उठाया गया कदम चीन के साथ बातचीत के बाद आया है, जिसमें पीएलए ने अपनी जगह से हटने से इनकार कर दिया था.