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Thursday, 14 August, 2025
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मुंबई ट्रेन ब्लास्ट का फैसला—भारत के क्रिमिनल जस्टिस सिस्टम में बड़े बदलाव की सख्त ज़रूरत

मालिमथ कमेटी ने सिफारिश की थी कि ‘अभियोजन पक्ष को पुलिस विभाग से पूरा सहयोग करते हुए काम करना चाहिए’, लेकिन जो हो रहा है वह इसका ठीक उलटा है.

बिहार 19वीं सदी का अमेरिकन साउथ हो गया है. सिटीजनशिप अब वोटर्स को बाहर करने का जरिया बन गई है

संस्थागत आदेश के जरिए मताधिकार से वंचित करना बिलकुल अलोकतांत्रिक कदम है. बिहार में जो नई प्रक्रिया चलाई जा रही है उससे भाजपा का ही पलड़ा भारी होने जा रहा है.

मोदी सरकार को लेकर जगदीप धनखड़ की विदाई तीन संदेश देती है

मोदी के दौर में जगदीप धनखड़ इतनी दूर तक इसलिए पहुंचे क्योंकि वह सरकार के लिए एक प्रभावी हथियारबंद व्यक्ति (हैचेट मैन) के रूप में काम करने को तैयार थे.

पाकिस्तानी लिंक, एनकाउंटर, और सीलबंद चार्जशीट—कैसे 7/11 केस की पूरी कहानी ध्वस्त हो गई

19 साल बाद, बॉम्बे हाई कोर्ट ने आखिरकार वही बात कही जो सरकारें और खुफिया एजेंसियां सालों से जानती थीं: धमाकों के लिए जिन लोगों को सज़ा दी गई थी, उनका इससे कोई लेना-देना नहीं था.

डिफेंस में आत्मनिर्भर बनने के लिए भारत को सीखने चाहिए इज़रायल से सबक

भारत का उभरता प्रतिरक्षा उद्योग अपनी क्षमता को बड़े उत्पादन में नहीं बदल पाया है और न वैश्विक बाज़ार में जगह बना पाया है. इस कारण आयातों पर निर्भरता जारी है.

75 की उम्र में नए सपने देख रहे हैं चंद्रबाबू नायडू — बाकी मुख्यमंत्री क्या चूक रहे हैं

नायडू के आलोचक उनकी हरकतों को राजनीतिक मौका परस्ती कहेंगे, जबकि समर्थक उन्हें उनकी शानदार राजनीतिक सूझबूझ का उदाहरण मानते हैं.

114 साल के फौजा सिंह की मौत ने खोली भारत की सड़कों की सच्चाई — हर 3 मिनट में जाती है एक जान

114 साल के फौजा सिंह को तेज़ रफ्तार कार ने टक्कर मार दी, जिससे उनकी मौत हो गई. इस हादसे ने एक बार फिर भारत की खतरनाक सड़कों, बढ़ते सड़क हादसों और लापरवाह ट्रैफिक व्यवस्था पर सवाल खड़े कर दिए हैं.

एक दिन रणनीतिक साझेदार, अगले दिन सिरदर्द: भारत ट्रंप्लोमैसी से कठिन सीख ले रहा है

खुली, तीखी, खरी, अनीतिपूर्ण और कभी-कभी अपमानजनक विशेषणों से लैस तारीफों से भरी कूटनीति. इसे हम ‘ट्रंप्लोमैसी’ कहते हैं. लेकिन इस सबके पीछे बड़ा मकसद होता है: अमेरिकी वर्चस्व बनाए रखना.

राधिका की हत्या सिर्फ गुस्सैल पिता की कहानी नहीं, बेटियों की कमाई आज भी समाज के लिए बोझ क्यों है

सोशल मीडिया पर कुछ लोगों ने हत्या को सही ठहराया, कभी ‘दूसरी कहानी’ की बात कहकर, तो कभी यह कहकर कि राधिका किसी मुस्लिम युवक के साथ थी. इससे एक पिता की हिंसा को सामान्य और बेटी की मौत को सांप्रदायिक रंग दिया जा रहा है.

सौर ऊर्जा के बड़े लक्ष्य के लिए ज़रूरी है स्मार्ट फंडिंग, ISA बन सकता है भरोसेमंद मंच

आईएसए को प्रोजेक्ट की मानक सूचना के लिए ‘ग्लोबल सोलर एसेट रजिस्ट्री’ की व्यवस्था को आगे बढ़ाना चाहिए, और राजनीति और मुद्रा संबंधी जोखिमों को दूर करने के लिए ‘सोलर क्रेडिट गारंटी’ की सुविधा भी देनी चाहिए.

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वह भाषण जो पीएम मोदी को इस स्वतंत्रता दिवस पर देना चाहिए

पिछले 11 साल से नेहरू लगातार मेरे प्रयासों में अड़ंगा डालते रहे हैं और मेरी कई योजनाओं व अभियानों को नाकाम बना रहे हैं. मेरी अधिकतर पहलें असफल होने का कारण वही हैं.

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कोटा में बहू से छेड़छाड़ के आरोप में पूर्व सैन्यकर्मी गिरफ्तार

कोटा, 13 अगस्त (भाषा) कोटा के एक कस्बे में एक सेवानिवृत्त सैन्यकर्मी (55) को अपनी बहू के साथ बलात्कार के प्रयास के आरोप में...

लास्ट लाफ

सुप्रीम कोर्ट का सही फैसला और बिलकिस बानो की जीत

दिप्रिंट के संपादकों द्वारा चुने गए दिन के सर्वश्रेष्ठ कार्टून.