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Tuesday, 11 November, 2025
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पहली बार 50 विजन इंपेयर्ड लोगों ने छुआ ताजमहल, जानिए आगे क्या कुछ हुआ

दिल्ली से आगरा का यह एक दिन का दौरा 'राइजिंग स्टार: खिलते चेहरे' नाम की एक गैर-सरकारी संस्था (NGO) ने कराया था. यह संस्था समावेशी यात्रा के ज़रिए दिव्यांग लोगों को सशक्त बनाती है. 2019 में शुरू हुई यह पहल अब तक अपनी 12वीं सुलभ यात्रा पूरी कर चुकी है.

राहुल गांधी को अपनी राजनीति पर एक बुनियादी सवाल पूछना चाहिए

राहुल पीएम मोदी और उनकी पार्टी के बारे में नकारात्मक बातें बनाने पर ध्यान दे रहे हैं. उन्हें यह एहसास नहीं है कि पिछले दो दशकों से उनके विरोधियों ने भी उनके बारे में जो नकारात्मक छवि बनाई है, उसे भी उन्हें संबोधित करना होगा.

TCS, इंफोसिस से लेकर विप्रो तक—भारत में नए IT कर्मचारियों का संघर्ष: वेतन स्थिर, बढ़ता खर्च

यह केवल वेतन की समस्या नहीं है. आईटी सेवा कंपनियों का पूरा व्यवसाय मॉडल भी सवालों के घेरे में है. टीसीएस ने एआई-संचालित रणनीतियों पर ध्यान देने के लिए 12,000 नौकरियों को खत्म करने की घोषणा की है.

रण संवाद में आने वाले युद्ध पर ज़ोर दिया, हम तो आज के लिए भी ठीक से तैयार नहीं हैं

सशस्त्र बलों का बड़ा हिस्सा बीते कल की लड़ाइयों के लिए तैयार है, आज की लड़ाइयों के लिए उनकी क्षमता सीमित है और भविष्य की लड़ाइयों के लिए कोई औपचारिक योजना नहीं है.

तस्वीरों में: ग़मगीन हुआ काठमांडू, युवा ‘क्रांतिकारियों’ को राष्ट्रीय ध्वज में लिपटा कर दी अंतिम विदाई

हिंसक आंदोलन के दौरान मारे गए भ्रष्टाचार विरोधी जेनरेशन जी प्रदर्शनकारियों को शहीदों की विदाई दी जा रही है, तथा सैकड़ों लोग उन्हें अंतिम श्रद्धांजलि देने के लिए आ रहे हैं.

नेपाल में Gen Z प्रोटेस्ट पर भारत और चीन की प्रतिक्रिया में अहम फर्क क्यों नज़र आता है

चीन किसी भी कीमत पर अपने कम्युनिस्ट सहयोगी नेपाल को एकजुट रखना चाहता है. भारत को चिंता करनी चाहिए.

तमिलनाडु की राजनीति दरारों से त्रस्त हो रही है, विजय की ‘एंट्री’ से इसमें और मंथन हो सकता है

राज्य में संशयवादी, स्थापित तथा मजबूत दलों, और सियासतबाजी के कारण भारी उदासीनता का भाव हावी है.

बड़े निजी अस्पताल और बीमा कंपनियां आमने-सामने, क्या है GIC की ‘कॉमन एम्पैनलमेंट’ योजना?

कुछ अस्पतालों और बीमा कंपनियों में विवाद के बीच, जनरल इंश्योरेंस काउंसिल ‘कॉमन एम्पैनलमेंट’ मॉडल पर काम कर रहा है, जो अस्पताल और बीमा कंपनियों के बीच सभी समझौतों को एक जैसा बना देगा.

क़तर ने निभाई दोहरी भूमिका—शांति दूत भी और कट्टरपंथियों का ठिकाना, अब छिपने की कोई जगह नहीं बची

दुनिया की व्यवस्था दबाव में डगमगा रही है, ऐसे में शांति बनाना अब पहले से भी ज़्यादा ख़तरनाक काम हो गया है.

भारत कैसे टिका रहा जबकि पड़ोसी देश नेपाल, बांग्लादेश, पाकिस्तान बार-बार बिखरते रहे

जो लोग कहते हैं कि भारत को हिंदू राष्ट्र होना चाहिए, उन्हें नेपाल को गौर से देखना चाहिए. वहां की आबादी भारी संख्या में हिंदू है, फिर भी इससे देश की स्थिरता पर कोई फर्क नहीं पड़ा.

मत-विमत

सऊदी अरब की तेल की ताकत घट रही है. इसका अमेरिका के साथ उसके रिश्तों पर क्या असर पड़ेगा?

इसमें कोई संदेह नहीं कि सऊदी अरब ने अपनी समस्याओं को खुद बढ़ाया है, जिसका कारण नेतृत्व का अहंकार और खराब सलाह है. ‘दि लाइन’ इसका स्पष्ट उदाहरण है.

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पासपोर्ट आवेदन के लिए पुलिस सभी जांच चार सप्ताह में पूरी करे: उच्च न्यायालय

प्रयागराज, 10 नवंबर (भाषा) इलाहाबाद उच्च न्यायालय ने एक आदेश में निर्देश दिया है कि पासपोर्ट आवेदनों के लिए पुलिस को सभी जांच चार...

लास्ट लाफ

सुप्रीम कोर्ट का सही फैसला और बिलकिस बानो की जीत

दिप्रिंट के संपादकों द्वारा चुने गए दिन के सर्वश्रेष्ठ कार्टून.