मोदी के चौथी औद्योगिक क्रांति में भारत के योगदान संबंधी दावे को उनकी आदतन अतिशयोक्तियों में गिन सकते हैं. लेकिन इसकी संभावनाओं पर विचार किया जाना चाहिए.
जिन घटनाओं पर विवाद हुए और जनता में गुस्सा भड़का, मोदी ने उनपर चुप्पी साध ली, लेकिन वे उन मुद्दों पर ज़रूर बोलते हैं जो लोगों के दिमाग को उत्तेजित करें.
कश्मीर में जो सामान्य स्थिति बहाल हुई है उसे, मुनीर के मुताबिक, उलटना जरूरी था. पहलगाम कांड की तैयारी उनके भाषण और इस हमले के बीच के एक सप्ताह में तो नहीं ही की गई, इसमें कई महीने नहीं तो कई सप्ताह जरूर लगे होंगे.