मंगलुरु (कर्नाटक), 21 अगस्त (भाषा) मंगलुरु की एक अदालत ने धर्मस्थल मामले से संबंधित सामग्री को लेकर आपराधिक आरोपों का सामना कर रहे यूट्यूबर समीर एमडी को बृहस्पतिवार को अग्रिम जमानत दे दी।
उनके खिलाफ धर्मस्थल पुलिस थाने में भारतीय न्याय संहिता की धाराओं 192 (दंगा भड़काने के इरादे से जानबूझकर उकसावे की कार्रवाई करना), 240 (गलत सूचना देना) और 353(1)(बी) (सार्वजनिक शरारत के लिए बयान देना) के तहत मामला दर्ज किया गया है।
पुलिस ने बताया कि ये आरोप समीर द्वारा अपलोड किए गए उस वीडियो से जुड़े हैं जिसमें उन्होंने विवादास्पद मामले से जुड़े आरोप लगाए थे।
यह पहली बार नहीं है जब यूट्यूबर को कानूनी कार्रवाई का सामना करना पड़ा है।
बेंगलुरु की एक अदालत ने श्री क्षेत्र धर्मस्थल के प्रतिनिधियों डी. हर्षेंद्र कुमार और निश्चल डी. द्वारा दायर 10 करोड़ रुपये के मानहानि के मुकदमे के संबंध में उन्हें अप्रैल में नोटिस जारी किया था।
मुकदमे में आरोप लगाया गया था कि समीर ने 2008 में एक कॉलेज छात्रा की हत्या के अनसुलझी मामले के बारे में अपमानजनक सामग्री पोस्ट करके धार्मिक संस्थान को जानबूझकर निशाना बनाया था।
समीर के ऑनलाइन फॉलोअर्स की बड़ी संख्या है। वह दावा करते हैं कि उनका काम उन मुद्दों को उजागर करना है जिन्हें मुख्यधारा की मीडिया नजरअंदाज कर देती है।
अदालत ने अग्रिम जमानत देते हुए उन्हें जांच में सहयोग करने और भड़काऊ बयान देने से बचने का निर्देश दिया।
पुलिस सूत्रों ने बताया कि गलत सूचना और अशांति फैलने से रोकने के लिए संवेदनशील मामलों से जुड़ी डिजिटल सामग्री की निगरानी जारी रहेगी।
भाषा इन्दु सिम्मी
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