मुंबई, 17 अगस्त (भाषा) शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (शरदचंद्र पवार) ने रविवार को आरोप लगाया कि निर्वाचन आयोग बिहार में मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) का समर्थन करते हुए विपक्ष की ओर से उठाए गए सवालों का जवाब देने में विफल रहा और वह बिल्कुल अनभिज्ञ प्रतीत होता है।
शिवसेना (उबाठा) नेता आदित्य ठाकरे ने ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा कि चुनाव निकाय को तटस्थ होना चाहिए, लेकिन उसने अपने आकाओं की ओर से दी गई ‘स्क्रिप्ट’ पढ़ी।
उन्होंने लिखा, “धोखेबाज आयोग ने आज अपनी प्रेस वार्ता से यह साबित कर दिया कि उसे इस बारे में बिल्कुल भी पता नहीं है कि राजनीतिक दलों और मीडिया की ओर से पूछे गए तीखे सवालों का क्या जवाब देना है।”
आदित्य ने सवाल किया, “यही वह संस्था है, जिसने यह सुनिश्चित किया है कि भारत स्वतंत्र एवं निष्पक्ष चुनावों से दूर रहे। क्या हम ऐसे फर्जी अधिकारियों वाली इस संस्था पर निष्पक्ष चुनाव प्रक्रिया सुनिश्चित करने का भरोसा कर सकते हैं?”
वहीं, राकांपा (एसपी) के प्रवक्ता क्लाइड क्रैस्टो ने कहा, “निर्वाचन आयोग की ‘क्या-क्या’ करने की प्रवृत्ति से उस पर उठाए गए सवालों पर यकीन और अधिक बढ़ गया है। बिंदुवार जवाब देने के बजाय, आयोग गोल-गोल घुमा रहा है और यह दिखाने की कोशिश कर रहा है कि व्यवस्था में कुछ भी गलत नहीं है।”
भाषा पारुल राजकुमार
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