नई दिल्ली: अमेरिका में पढ़ने वाले भारतीयों की संख्या में पिछले शैक्षणिक वर्ष की तुलना में 2020-21 में लगभग 13 प्रतिशत की कमी आई है. अंतरराष्ट्रीय शिक्षा संस्थान द्वारा सोमवार को जारी एक सालाना रिपोर्ट के मुताबिक अमेरिकी अधिकारी कोरोना महामारी की वजह से संख्या में कमी के लिए जिम्मेदार ठहरा रहे हैं.
‘ओपन डोर्स रिपोर्ट 2021’ के अनुसार अंतरराष्ट्रीय छात्रों के लिए अमेरिका ‘पहली पसंद’ बना हुआ है और अभी भी चीन के बाद भारतीय छात्र अमेरिका में दूसरा सबसे बड़ा समूह है.
अमेरिकी दूतावास के वरिष्ठ अधिकारियों ने सोमवार को यहां ‘फुलब्राइट हाउस’ रिपोर्ट के बारे में बताते हुए कहा कि ‘अकेले इस गर्मी में 62,000 से अधिक छात्र वीजा जारी किए गए जो पिछले किसी भी साल की तुलना में ज्यादा है.’
अमेरिकी दूतावास में सांस्कृतिक और शैक्षिक मामलों के सलाहकार एंथनी मिरांडा ने कहा, ‘छात्र वीजा के आंकड़े बताते हैं कि अमेरिका में पढ़ने वाले भारतीयों की संख्या में ‘कमी’ एक ‘कोविड समस्या’ के कारण थी.’
उन्होंने शिक्षा और छात्र गतिशीलता पर कोविड-19 महामारी के वैश्विक प्रभाव के बारे में बात की और अमेरिका में पढ़ने वाले अंतरराष्ट्रीय छात्रों की संख्या में गिरावट के साथ अमेरिका को भी इसके प्रभाव का सामना करना पड़ा.
मिरांडा ने रिपोर्ट के हवाले से कहा, ‘पिछले शैक्षणिक वर्ष की तुलना में 2020-21 में अमेरिका में पढ़ने वाले भारतीयों की संख्या में लगभग 13 प्रतिशत की कमी आई है जबकि इसी अवधि के संदर्भ में अमेरिका में अंतरराष्ट्रीय छात्रों की संख्या में कुल मिलाकर लगभग 15 प्रतिशत की कमी आई है.’
उन्होंने कहा कि महामारी के प्रभाव के बावजूद ‘अमेरिका अंतरराष्ट्रीय छात्रों के लिए पहली पसंद बना हुआ है, जो 200 से अधिक मूल स्थानों से 9,14,000 से अधिक अंतरराष्ट्रीय छात्रों का स्वागत करता है.’
अमेरिकी दूतावास ने एक बयान में कहा, ‘ओपन डोर्स रिपोर्ट 2021’ के अनुसार, 2020-2021 शैक्षणिक वर्ष में 1,67,582 छात्रों के साथ भारतीय छात्रों में इस संख्या का लगभग 20 प्रतिशत शामिल है.
वार्षिक रिपोर्ट अमेरिकी विदेश विभाग के शैक्षिक और सांस्कृतिक मामलों के ब्यूरो के साथ साझेदारी में अंतरराष्ट्रीय शिक्षा संस्थान (आईआईई) द्वारा प्रकाशित की जाती है.
दूतावास में काउंसलर मामलों के मंत्री डोनाल्ड हेफ्लिन ने कहा कि महामारी और लॉकडाउन से बड़ी चुनौतियां सामने आई और उन माता-पिता के मन में सुरक्षा को लेकर चिंताएं पैदा हुई जिनके बच्चे उच्च शिक्षा के लिए अमेरिका जाने वाले थे लेकिन छात्रों के लिए एक सुरक्षित और आरामदायक माहौल सुनिश्चित करने के लिए दोनों पक्षों (अमेरिका और भारत) द्वारा प्रयास किए गए.
उन्होंने कहा, ‘वैश्वि क महामारी के बावजूद, भारतीय छात्र वीजा के लिए आवेदन करने और अमेरिका की यात्रा करने में सक्षम थे. हमने अकेले इस गर्मी में 62,000 से अधिक छात्र वीजा जारी किए जो पिछले किसी भी वर्ष की तुलना में अधिक है. इससे पता चलता है कि विदेश में पढ़ने के इच्छुक भारतीय छात्रों के लिए अमेरिका पसंदीदा जगह बना हुआ है. हम आने वाले साल में कई और वीजा जारी करने की उम्मीद करते हैं.’
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