खरगौन के सांप्रदायिक रूप से अतिसंवेदनील दंगा-प्रभावित इलाक़ों की गलियों में ईंटें, कांच, और टाइल्स के टुकड़े झुलसी हुई चूड़ियां, अनाज, कपड़े, और जलाई हुई दुकानों तथा घरों के दूसरे अवशेष बिखरे पड़े हैं.
अकबर ने जो बातें दूसरों को सीखने के लिए कहीं, उन्हें खुद भी अपनी ज़िंदगी में अपनाया. हिंदू धर्म और इस्लाम के अलावा दूसरे धर्मों के प्रति उसका जो सम्मान था, वो सिर्फ उसकी राजनीति में नहीं, बल्कि उसकी अपनी आस्था और निजी व्यवहार में भी साफ दिखाई देता था.