दिप्रिंट के ऑफ द कफ में, गुलज़ार ने अपनी नई किताब ' अ पोएम अ डे ' के बारे में बात की, जो भारत की 34 भाषाओं में 279 कवियों द्वारा 365 कविताओं का एक संकलन है.
शम्सुर्रहमान फारूकी की शख्सियत, उनके काम, लेखनी और साहित्यिक दुनिया में उनके मकां को समझने के लिए दिप्रिंट ने मशहूर दास्तांगो हिमांशु बाजपेयी से बात की.
1960 के दशक में उन्होंने लिखना शुरू किया था. उनकी चर्चित रचनाओं में कई चांद थे सर-ए-आसमां, मीर तकी मीर, गालिब अफसाने की हिमायत में, द सेक्रेट मिरर शामिल है.
भारतीय बैंकिंग की मौजूदा संरचना और उससे जुड़े हुए अन्य मुद्दे , बैंकिंग से समबन्धित विकास को अवरुद्ध करता रहा है. खराब ऋण बैलेंस शीट के साथ NPA भारतीय बैंकों की संभावनाओं को नीचे खींच रही हैं. पुस्तक में भारतीय अर्थव्यवस्था की सच्ची तस्वीर को चित्रित की गई है.
पिछले पांच-सात बरस से मंगलेश प्रायः ‘अवसाद’ की कविताएं लिखने लगा था फिर उसकी कविता में क्रोध के चिन्ह भी नज़र आने लगे जो उसकी कविता के मिजाज के विपरीत थे.
वरिष्ठ कवि और लेखक मंगलेश डबराल का बुधवार शाम को निधन हो गया. वे 72 वर्ष के थे. कोविड से संक्रमित होने के बाद उनका इलाज गाजियाबाद के ही एक अस्पताल में चल रहा था.
एक मामूली किताबों का डीलर दीन की दुनिया को बंदूक़ सरीखेा मामूली शब्द कैसे उलट पलट के रख देता है. बंदूक द्वीप है कहानी एक असाधारण यात्रा की जो दीन की ठोस धारणाओं को बदल देती है.
अगर नियंत्रण रेखा को पश्चिम की ओर बढ़ाया गया, तो पाकिस्तान की सेना को शर्मिंदगी झेलनी पड़ सकती है, लेकिन इसका नतीजा यह भी हो सकता है कि कश्मीर में आतंकवाद बढ़ जाए.