अलीगढ़ (उप्र), 26 मई (भाषा) अलीगढ़ जिले की हरदुआगंज थाना पुलिस ने यहां भीड़ द्वारा की गई हिंसा के संबंध में दर्ज मामले में वांछित तीन आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया। पुलिस ने सोमवार को यह जानकारी दी।
पुलिस के अनुसार, प्रतिबंधित मवेशियों के मांस ले जाने के संदेह में शनिवार को भीड़ द्वारा चार लोगों की पीट-पीटकर हत्या का प्रयास किया गया और उनके वाहन में आग लगा दी गई।
पुलिस ने सोमवार को बताया कि शनिवार को मांस का कारोबार करने वाले कुछ व्यापारियों पर भीड़ द्वारा किए गए हमले के सिलसिले में वांछित तीन लोगों को रविवार शाम हरदुआगंज के पास बरोठा नहर पुल के पास से गिरफ्तार किया गया।
गिरफ्तार किए गए लोगों में विजय बजरंगी, विजय कुमार गुप्ता और लवकुश शामिल हैं। पुलिस ने एक बयान में कहा कि वह शेष वांछित लोगों की तलाश कर रही है।
पुलिस ने कथित भीड़ हमले का स्क्रीनशॉट भी जारी किया है और लोगों से हमलावरों की पहचान करने में मदद करने की अपील की है।
हमले में मांस व्यापारी, मवेशी का मांस ले जा रहे वाहन के चालक और सहायक सहित चार लोग गंभीर रूप से घायल हो गए। घायलों की पहचान अकील (35), नदीम (32), अकील (43) और अरबाज (38) के रूप में हुई है और उनका जवाहरलाल नेहरू मेडिकल कॉलेज अस्पताल में इलाज चल रहा है।
इस बीच, पीड़ितों में से एक के परिवार के सदस्य ने हरदुआगंज थाने में हमलावरों के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई। प्राथमिकी में मुख्य रूप से दक्षिणपंथी संगठनों से जुड़े नामजद 12 व्यक्तियों के साथ 25 अज्ञात व्यक्तियों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की गयी है।
अलीगढ़ के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (एसएसपी) संजीव सुमन ने सोमवार को एक बयान में कहा, ‘किसी को भी शांति भंग करने की इजाजत नहीं दी जाएगी और शरारत करने के किसी भी प्रयास से सख्ती से निपटा जाएगा।’
प्रतिबंधित मवेशी का मांस ले जाने के संदेह में भीड़ द्वारा चार लोगों की बुरी तरह पिटाई के एक दिन बाद रविवार को पुलिस ने अज्ञात व्यक्तियों के खिलाफ मामला दर्ज किया था।
पुलिस ने शनिवार को भारतीय न्याय संहिता की विभिन्न धाराओं के तहत चार घायलों के खिलाफ भी मामला दर्ज किया था।
पुलिस अधीक्षक (ग्रामीण) अमृत जैन ने कहा कि मामले की जांच चल रही है।
उन्होंने बताया कि शनिवार को हरदुआगंज थाने के पनेट्टी गांव के पास वाहन से जब्त मांस का नमूना मथुरा स्थित राज्य प्रयोगशाला भेजा गया है ताकि पता लगाया जा सके कि यह प्रतिबंधित मवेशी का मांस था या नहीं।
भाषा सं आनन्द संतोष
संतोष
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