श्रीनगर, 18 नवंबर (भाषा) जम्मू-कश्मीर पुलिस की आतंक रोधी इकाई (सीआईके) ने मंगलवार को एक सरकारी चिकित्सक और उसकी पत्नी को गैरकानूनी गतिविधियों को छिपाने के लिए पद का दुरुपयोग करने के आरोप में हिरासत में लिया। अधिकारियों ने यह जानकारी दी।
सीआईके ने मंगलवार को श्रीनगर, कुलगाम और अनंतनाग जिलों में चार स्थानों पर समन्वित तलाशी ली।
अधिकारियों ने बताया कि ये तलाशी अभियान उन सोशल मीडिया दुरुपयोगकर्ताओं के खिलाफ जारी कार्रवाई का हिस्सा थे, जो सीमा पार मौजूद अपने आकाओं के साथ मिलकर जानबूझकर आतंकवादी, अलगाववादी और देश-विरोधी एजेंडे को आगे बढ़ाने में लगे हुए हैं।
उन्होंने बताया कि अपनी व्यावसायिक स्थिति और सामाजिक प्रतिष्ठा का लाभ उठाकर, संबंधित व्यक्ति कथित रूप से गलत सूचना फैलाने, युवाओं को कट्टरपंथी बनाने, हिंसा भड़काने और सार्वजनिक व्यवस्था को बिगाड़ने के लिए सोशल मीडिया मंच का उपयोग कर रहे थे, जिससे भारत की शांति और संप्रभुता को गंभीर खतरा पैदा हो रहा था।
अधिकारियों ने स्पष्ट किया कि ये तलाशियां ‘सफेदपोश’ आतंकी मॉड्यूल या दिल्ली विस्फोट मामले से संबंधित नहीं हैं।
उन्होंने बताया कि अभियान के दौरान यहां एसएमएचएस अस्पताल में कार्यरत एक चिकित्सक और उसकी पत्नी को हिरासत में लिया गया।
सीआईके की टीमों ने कई डिजिटल उपकरण और आपत्तिजनक सामग्री जब्त की।
उन्होंने बताया कि बरामदगी में पांच मोबाइल फ़ोन, पांच सिम कार्ड, एक टैबलेट आदि बरामद किया है।
उन्होंने बताया कि जांच के दौरान यह भी पता चला है कि हिरासत में लिए गए लोग गैरकानूनी गतिविधियों को छिपाने के लिए अपने पद और सामाजिक प्रतिष्ठा का दुरुपयोग कर रहे थे।
उन्होंने कहा, ‘विशेष रूप से महिला संदिग्ध पर आरोप है कि वह ऑनलाइन और ऑफलाइन कार्यक्रमों के माध्यम से स्थानीय महिलाओं को कट्टरपंथी बनाने, विभाजनकारी बयानबाजी करने और सामुदायिक संपर्क के बहाने कमजोर समूहों को प्रभावित करने के कृत्य में शामिल थी।’
प्रतिबंधित आतंकवादी संगठन दुख्तरान-ए-मिल्लत से उसके कथित जुड़ाव की फिलहाल जांच की जा रही है। भाषा
राखी अविनाश जोहेब
जोहेब
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