नई दिल्ली: इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय (MeitY) बुधवार को नई दिल्ली में भारत के पहले डिजिटल स्टैक डेवलपर्स सम्मेलन की अगुवाई करेगा. इस आयोजन में UPI और आधार सहित ‘मेड इन इंडिया’ डिजिटल सार्वजनिक सेवाओं को दुनिया भर में व्यापक रूप से अपनाने की पेशकश की जाएगी.
मंगलवार को मीडिया से बातचीत करते हुए, MeitY के केंद्रीय राज्य मंत्री (MoS) राजीव चंद्रशेखर ने कहा कि भारत का ‘टेकनॉलोजी पैकेज’ डिजिटल पब्लिक इंफ्रास्ट्रक्चर के निर्माण की तरफ देख रहे देशों के लिए है. उन्होंने कहा, ‘आधार, यूपीआई और डिजिटल पब्लिक इंफ्रास्ट्रक्चर के रूप में बनाए गए विभिन्न अन्य एप्लिकेशन से भरे इंडिया स्टैक नामक इस टेक्नोलॉजी पैकेज को अब दुनिया भर के देशों को अपनाने के लिए पेश किया जा रहा है.’
उन्होंने आगे घोषणा की कि दिल्ली में स्टैक डेवलपर्स सम्मेलन में स्टार्टअप्स, सिस्टम इंटीग्रेटर्स, बड़ी और छोटी कंपनियां – भारतीय और विदेशी दोनों – और दुनिया भर के विभिन्न सरकारों के दूतावास भाग लेंगे. उपस्थित लोग ‘इंडिया स्टैक को समझेंगे और उम्मीद है कि इंडिया स्टैक का उन अन्य देशों में स्वागत किया जाएगा, जो अपनी सरकार और नागरिकों को डिजिटल बनाने में भारत की इस तकनीक को अपनाना चाहते हैं’.
India Stack represents an opportunity for the countries – that have been left behind, to climb up the digitalisation ladder rapidly. @GoI_MeitY will host the 1st #IndiaStack Developers Conference tomorrow#TechTuesday pic.twitter.com/53xVmwTHDL
— Rajeev Chandrasekhar 🇮🇳 (@Rajeev_GoI) January 24, 2023
स्टैक डेवलपर्स सम्मेलन उन्होंने कहा कि यह एक वार्षिक कार्यक्रम है जहां भारत की ‘ओपन-सोर्स’ डिजिटल सर्विस की पेशकश अन्य देशों और स्टार्टअप्स को उनके डिजिटल इंफ्रास्ट्रक्चर को ‘आगे विकसित’ करने में मदद करने के लिए की जाएगी.
चंद्रशेखर ने यह भी कहा कि यह आयोजन वह जगह है जहां भारतीय प्लेटफार्मों के आर्किटेक्ट विदेशी और राज्य सरकार के अधिकारियों के अलावा स्टार्टअप्स और सिस्टम इंटीग्रेटर्स से मिलेंगे. इसका लक्ष्य संपूर्ण भारत के साथ-साथ पूरी दुनिया में व्यापक तौर इंडिया स्टैक का प्रसार करना है.’.
उन्होंने स्पष्ट किया, ‘सरकार का इससे कोई पैसा बनाने का इरादा नहीं है. हम चाहते हैं कि स्टार्टअप्स को व्यवस्थित रूप से इन तकनीकों से फायदा पहुंचे.’
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क्या है ‘इंडिया स्टैक’
इंडिया स्टैक ओपन एपीआई (एप्लिकेशन प्रोग्रामिंग इंटरफेस) का एक सेट है जो सॉफ्टवेयर डेवलपर्स को डिजिटल सार्वजनिक सेवाओं के निर्माण के लिए उपलब्ध कराया गया है.
यहां विचार भारत की डिजिटल सार्वजनिक सेवाओं जैसे CoWin, UPI और आधार को स्टार्टअप्स, बड़े निगमों और देशों के लिए एक पैकेज के तौर पर प्रस्तुत करना है ताकि सरकारी बुनियादी ढांचे और अर्थव्यवस्थाओं को डिजिटल बनाने के लिए और नवाचार किया जा सके.
चंद्रशेखर ने मंगलवार को संवाददाताओं से कहा, ‘इंडिया स्टैक को हमने आधार पहचान से शुरू किया था, और यूपीआई प्लेटफॉर्म के साथ यह काफी आगे बढ़ा. इसके बाद स्वास्थ्य, शिक्षा, कौशल आदि में भी इसका इस्तेमाल किया जाने लगा है. इंडिया स्टैक दरअसल स्टैक डिजिटल समाधानों का एक मल्टी-लेयर क्लस्टर है . आधार, यूपीआई, जीएसटीएन आदि सभी की डिजिटल रिवॉल्यूशन लाने में अहम भूमिका रही है.
उन्होंने कहा कि इन डिजिटल सार्वजनिक सेवाओं को ‘बहुत सस्ते में उन देशों में लगाया जा सकता है, जो कोविड-19 के बाद अपनी अर्थव्यवस्था और सरकार को डिजिटल बनाना चाहते हैं’.
यह देखा जाना बाकी है कि 2021 में भारत की इंटरनेट वृद्धि धीमी बने रहने के बावजूद इंडिया स्टैक आंतरिक रूप से कैसा प्रदर्शन करेगा. गौरतलब है कि वैश्विक बाजार अनुसंधान फर्म काउंटरपॉइंट की एक रिपोर्ट के अनुसार, भारत में मोबाइल इंटरनेट ग्राहकों में जहां 2016 से 2020 तक दोहरे अंकों की वृद्धि देखी गई थी, वहीं 2021 में उसके विपरीत एकल अंक की वृद्धि हुई है.
(अनुवाद: संघप्रिया मौर्या | संपादनः ऋषभ राज)
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