नई दिल्ली: अभिनेता पंकज त्रिपाठी का कहना है कि फिल्म जगत में उन्हें मिली कामयाबी से उनकी जिंदगी पर कोई फर्क नहीं पड़ा है और वह असल जीवन में ‘स्टारडम’ का अभिनय नहीं कर सकते हैं, इसलिए वह इसका अनुभव पर्दे पर लेंगे.
अभिनेता के लिए 2020 का साल कामयाबी भरा रहा. उन्होंने ‘गुंजन सक्सेनाः द करगिल गर्ल’ में संवेदनशील अभिनय किया जबकि ‘मिर्जापुर’ सीजन दो में भी ‘कालीन भैया’ का किरदार शानदार तरीके से निभाया. इसके अलावा अनुराग बसु की ‘लुडो’ में ‘सत्तु भैया’ की भूमिका निभाई.
वह अब ‘शकीला’ में दिखेंगे जो वयस्क अभिनेता के जीवन पर आधारित है. वह 1990 के दशक में केरल के सबसे बड़े सितारों में से एक थे.
अभिनेता ने पीटीआई-भाषा को दिए साक्षात्कार में कहा, ‘इंद्रजीत लंकेश (निर्देशक) ने मुझे पटकथा सुनाई और मुझे यह बहुत पसंद आई. यह सुपरस्टार सलीम का किरदार था और मैं जानता था कि मुझे यह अनुभव कभी नहीं मिलेगा कि स्टारडम कैसा होता है, लिहाजा मैंने सोचा कि क्यों न इस भूमिका के जरिए स्टारडम का अनुभव किया जाए.’
उन्होंने कहा, ‘यह मेरे लिए अच्छा मौका था. किरदार थोड़ा चमकीला है और रंगीन कपड़े पहनता है. वह अप्रत्याशित है या अप्रत्याशित प्रस्तुतियां देता है.’
अभिनेता ने कहा कि कई कामयाब फिल्में और कार्यक्रम देने के बावजूद उनकी असल जिंदगी में कोई बदलाव नहीं आया है.
त्रिपाठी ने कहा, ‘हम सभी पारंपरिक सुपरस्टार को लेकर, उसके जीवन को लेकर और वह जो करता है उसे लेकर खास छवि और धारणा बना लेते हैं. मैं जानता हूं कि भले ही मुझे स्टारडम मिल जाए, मैं कभी भी उस छवि के अनुरूप आचरण नहीं कर पाऊंगा.’
उन्होंने कहा, ‘मैं एक साधारण व्यक्ति हूं और अगर कोशिश भी करूं तो मैं वह नहीं कर पाऊंगा. मैं असल जीवन में अभिनय नहीं कर सकता हूं. मेरा मानना है कि मैं सिर्फ पर्दे पर ही स्टारडम का अनुभव ले सकता हूं.’
‘शकीला’ में ऋचा चड्ढा मुख्य भूमिका में हैं. यह 25 दिसंबर को रिलीज हो रही है.
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