हाथरस उत्तर प्रदेश के हाथरस में कथित सामूहिक बलात्कार की शिकार पीड़िता के परिजनों को इलाहाबाद उच्च न्यायालय की लखनऊ पीठ में पेश करने के लिये कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच सोमवार की सुबह छह बजे यहां से लखनऊ के लिये रवाना किया गया है. एक अधिकारी ने सोमवार को इसकी जानकारी दी.
I am going with them. Proper security arrangements have been made. District Magistrate (DM) and Superintendent of Police (SP) is also accompanying us: Anjali Gangwar, SDM. https://t.co/htZjdmNGjl pic.twitter.com/I66jjrt2Gt
— ANI UP (@ANINewsUP) October 12, 2020
पीड़िता के परिवार की सुरक्षा के लिये उप्र शासन द्वारा नोडल अधिकारी बनाये गये पुलिस उप महानिरीक्षक (डीआईजी) शलभ माथुर ने सोमवार को बताया, ‘सुबह करीब छह बजे कड़ी सुरक्षा व्यवस्था में पीड़िता के परिजनों को लखनऊ भेजा गया है. इनमें पीड़िता की मां, तीन भाई और पिता शामिल हैं . इनके साथ मजिस्ट्रेट अंजली गंगवार और पुलिस क्षेत्राधिकारी के अलावा, परिवार की सुरक्षा में तैनात पुलिसकर्मी और पीएसी के जवान भी गये है.’
माथुर ने बताया कि परिवार की सुरक्षा में पुलिस की पांच एस्कॉर्ट गाड़ी भी साथ साथ चल रही है और इनके दोपहर 12 बजे तक लखनऊ पहुंचने की उम्मीद है.
इलाहाबाद उच्च न्यायालय की लखनऊ पीठ ने हाथरस कांड का स्वत: संज्ञान लेते हुए इस मामले में आला अधिकारियों को एक अक्टूबर को तलब किया था. अदालत पीड़ित परिवार के बयान दर्ज करेगी . पीठ ने एक अक्टूबर को ही घटना के बारे में बयान देने के लिए मृत पीड़िता के परिजनों को बुलाया था .
न्यायमूर्ति राजन राय और न्यायमूर्ति जसप्रीत सिंह ने एक अक्टूबर को प्रदेश के गृह विभाग के अपर मुख्य सचिव, पुलिस महानिदेशक और अपर पुलिस महानिदेशक को घटना के बारे में स्पष्टीकरण देने के लिए 12 अक्टूबर को अदालत में तलब किया था.
यह मामला न्यायमूर्ति पंकज मित्तल और न्यायमूर्ति राजन राय की पीठ के समक्ष सोमवार को दोपहर बाद सवा दो बजे सुनवाई के लिए सूचीबद्ध किया गया है .
गौरतलब है कि 14 सितंबर को हाथरस जिले के चंदपा थाना क्षेत्र में 19 साल की एक दलित लड़की से अगड़ी जाति के चार युवकों ने कथित रूप से सामूहिक बलात्कार किया था. इसके बाद उसे नाजुक हालत में अस्पताल में भर्ती कराया गया था जहां से बाद में उसे दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल ले जाया गया जहां 29 सितंबर को उसकी मृत्यु हो गई थी.
इस घटना को लेकर विपक्ष ने राज्य सरकार पर जबरदस्त हमला बोला था.