चाबोट ने कहा, 'हम सभी को पता है कि पाकिस्तान और खासकर उसकी इंटेलीजेंस सर्विस ने तालिबान के पैर पसारने और देश पर कब्जा करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है.'
संगठन ने कहा कि काबुल के कारते परवन गुरुद्वारे में महिलाओं और 50 से अधिक बच्चों सहित 260 से अधिक अफगान नागरिक हैं. इनमें 3 नवजात भी शामिल हैं, जिनमें से एक का जन्म कल ही हुआ है.
मामुन्दजई ने ट्विटर पर कहा, ‘मैं पिछले कुछ हफ्तों में, विशेष रूप से पिछले सात से आठ दिनों में अफगानों की पीड़ा पर सभी भारतीय मित्रों और नई दिल्ली में राजनयिक मिशनों के सहानुभूतिपूर्ण और समर्थन दिखाने वाले संदेशों की सराहना करता हूं.'
सरकारी आईआरएनए समाचार एजेंसी के मुताबिक, पिछले 24 घंटे में इस घातक वायरस के कारण 684 मरीजों की मौत हुई जबकि इसी अवधि में कोरोना वायरस संक्रमण के 36,400 नए मामले सामने आए.
अफगानिस्तान से लोगों को बाहर निकालने के अभियान से अवगत अधिकारियों ने बताया कि काबुल से लाए गए 168 लोगों के समूह में अफगान सांसद अनारकली होनारयार और नरेंद्र सिंह खालसा एवं उनके परिवार भी शामिल हैं.
इंडोनेशिया, मलेशिया, तुर्की, श्रीलंका इस्लाम या बौद्ध धर्म की प्रमुखता के बावजूद संवैधानिक, लोकतांत्रिक और स्थिर व्यवस्था में कैसे बने रहे लेकिन पाकिस्तान, बांग्लादेश और म्यांमार ऐसा क्यों नहीं कर पाए?