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Monday, 17 June, 2024
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पाकिस्तान के निर्वाचन आयोग ने विवादित चुनाव के तीन दिन बाद दलीय स्थिति जारी की

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इस्लामाबाद, 12 फरवरी (भाषा) पाकिस्तान के चुनाव आयोग ने सोमवार को विवादों से घिरे आम चुनावों के पूर्ण नतीजे जारी किए जिसमें राष्ट्रीय और प्रांतीय विधानसभाओं में सभी राजनीतिक दलों की प्रारंभिक स्थिति बताई गई।

आम चुनाव बृहस्पतिवार को हुए थे लेकिन नतीजों की घोषणा में असामान्य देरी हुई जिसके कारण देश भर के कई निर्वाचन क्षेत्रों में मतदान में धांधली के आरोप लगे।

जेल में बंद पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान की पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) पार्टी और पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ की पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) दोनों ने अपनी-अपनी जीत का दावा किया है। ऐसे में गठबंधन सरकार का गठन ही अपरिहार्य प्रतीत हो रहा है क्योंकि नेशनल असेंबली में किसी एक पार्टी को बहुमत नहीं मिला है।

देश के 854 राष्ट्रीय और प्रांतीय विधानसभा निर्वाचन क्षेत्रों पर मतदान हुआ। शुरुआती नतीजों के मुताबिक, 348 निर्दलीय उम्मीदवार सफल हुए।

निर्दलीय उम्मीदवारों में से अधिकतर को खान की पीटीआई का समर्थन प्राप्त था। उन्हें निर्दलीय के रूप में चुनाव लड़ने के लिए मजबूर होना पड़ा क्योंकि पीटीआई को उसके विवादास्पद अंतर-पार्टी चुनावों के कारण उसके चुनाव चिन्ह – क्रिकेट का बल्ला – से वंचित कर दिया गया था।

राजनीतिक दलों में, पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) 227 सीटें जीतकर सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी, उसके बाद पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) 160 सीटों के साथ दूसरे स्थान पर रही।

मुत्ताहिदा कौमी मूवमेंट-पाकिस्तान (एमक्यूएम-पी) 45 सीटों के साथ तीसरे स्थान पर है।

प्रारंभिक परिणामों के अनुसार, नेशनल असेंबली में निर्दलीय उम्मीदवारों ने 101 सीटें जीतीं।

पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ के नेतृत्व वाली पीएमएल-एन को 75 सीटें मिलीं, जबकि पूर्व विदेश मंत्री बिलावल भुट्टो-जरदारी की पीपीपी ने 54 और एमक्यूएम-पी ने 17 सीटें हासिल कीं। अन्य पार्टियों में जमीयत उलेमा-ए-इस्लाम (जेयूआई) ने चार सीटें, पीएमएल-कायद ने तीन और इस्तेहकाम-ए-पाकिस्तान पार्टी (आईपीपी) और बलूचिस्तान नेशनल पार्टी (बीएनपी) ने दो-दो सीटें जीतीं।

नेशनल असेंबली में 265 सीटों पर चुनाव हुआ था। सरकार बनाने के लिए एक पार्टी को 265 में से 133 सीटें जीतनी होंगी। कुल मिलाकर, साधारण बहुमत हासिल करने के लिए 336 में से 169 सीट की आवश्यकता है, जिसमें महिलाओं और अल्पसंख्यकों के लिए सुरक्षित सीट भी शामिल हैं।

इस बीच, स्थानीय मीडिया ने बताया कि राष्ट्रपति आरिफ अल्वी 29 फरवरी तक नई नेशनल असेंबली का नया सत्र बुलाने के लिए संविधान के तहत कर्तव्यबद्ध हैं। वहीं निचले सदन के सचिवालय ने नवनिर्वाचित सदस्यों के स्वागत के लिए सभी व्यवस्थाएं की हैं।

संविधान की धारा 91(2) के अनुसार, राष्ट्रपति को चुनाव परिणामों की आधिकारिक घोषणा या इसकी अधिसूचना जारी होने के 21 दिनों के भीतर नेशनल असेंबली का सत्र बुलाना होगा।

भाषा

प्रशांत मनीषा

मनीषा

यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेंट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.

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