वाशिंगटन: अमेरिका के दो सांसदों ने बृहस्पतिवार को कांग्रेस में ऐसा विधेयक पेश करने की घोषणा की जिससे अमेरिकी नागरिक कोरोना वायरस वैश्विक महामारी के कारण हुई मौत और आर्थिक नुकसान के लिए हर्जाना हासिल करने के लिए संघीय अदालत में चीन पर मुकदमा कर सकेंगे.
इस विधेयक को सीनेट में टॉम कॉटन और प्रतिनिधि सभा में डैन क्रेनशॉ ने पेश किया. अगर यह पारित होता है और कानून में तब्दील होता है तो इस महामारी से निपटने में चीन द्वारा हुए नुकसान के लिए विदेशी संप्रभु प्रतिरक्षा अधिनियम में संशोधन करेगा.
इस विधेयक से अमेरिका को चीन पर मुआवजे के लिए मुकदमा करने का अधिकार मिल जाएगा. अगर अमेरिका और चीन इन दावों के निपटारे के लिए समझौता करते हैं तो निजी मुकदमों को खारिज किया जा सकता है.
कॉटन ने कहा, ‘कोरोना वायरस के बारे में दुनिया को आगाह करने की कोशिश करने वाले डॉक्टरों और पत्रकारों को चुप कराकर चीन की कम्युनिस्ट पार्टी ने विश्वभर में तेजी से विषाणु को फैलने दिया.’
उन्होंने कहा, ‘वायरस को छिपाने के उनके फैसले से हजारों लोगों की बेवक्त मौत हुई और भारी आर्थिक नुकसान हुआ. यह उचित है कि हम इस नुकसान के लिए चीनी सरकार को जवाबदेह ठहराएं.’
रिपब्लिकन सांसदों ने ट्रंप से डब्ल्यूएचओ प्रमुख का इस्तीफा होने तक वित्त पोषण रोकने का किया अनुरोध
रिपब्लिकन सांसदों ने बृहस्पतिवार को राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प से अनुरोध किया कि कोरोना वायरस वैश्विक महामारी से ठीक ढंग से निपटने में विफल रहे विश्व स्वास्थ्य संगठन प्रमुख के इस्तीफे की शर्त पर ही संगठन को अमेरिका द्वारा वित्त पोषण दिया जाए.
सदन की विदेश मामलों की समिति के 17 रिपब्लिकन सदस्यों ने कहा कि उनका डब्ल्यूएचओ के टेड्रोस अदानोम गेब्रेयसस के नेतृत्व पर भरोसा उठ गया है. हालांकि साथ ही उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि दुनिया की स्वास्थ्य समस्याओं से निपटने में इस संगठन की महत्वपूर्ण भूमिका है.
रिपब्लिकन माइकल मैक्कॉल के नेतृत्व में सांसदों ने ट्रम्प को लिखे पत्र में कहा, ‘महानिदेशक टेड्रोस एचआईवी/एड्स वैश्विक महामारी के बाद से दुनिया के सबसे बड़े स्वास्थ्य संकट से निपटने में विफल रहे हैं.’
गौरतलब है कि ट्रम्प ने मंगलवार को ऐलान किया था कि अमेरिका संयुक्त राष्ट्र की इस संस्था को दी जाने वाली वित्तीय मदद रोकेगा.