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Wednesday, 25 December, 2024
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चुनौतियों से निपटने के लिए 13-15 मई को कांग्रेस का ‘चिंतन शिविर’, इम्पॉवर्ड एक्शन ग्रुप का होगा गठन

रणदीप सुरजेवाला ने कहा कि पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी ने यह फैसला किया है कि आगामी 13, 14 और 15 मई को राजस्थान के उदयपुर में ‘नवसंकल्प चिंतन शिविर’ का आयोजन किया जाएगा.

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नई दिल्ली: कांग्रेस ने चुनाव रणनीतिकार प्रशांत किशोर के सुझावों पर विचार के लिए गठित समिति की रिपोर्ट पर मंथन करने के बाद सोमवार को फैसला किया कि अगले लोकसभा चुनाव के लिए पार्टी को मजबूत करने और भविष्य की चुनौतियों से निपटने के मकसद से एक ‘विशेषाधिकार प्राप्त कार्य समूह- 2024’ का गठन किया जाएगा.

पार्टी के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने यह भी कहा कि पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी ने यह फैसला किया है कि आगामी 13, 14 और 15 मई को राजस्थान के उदयपुर में ‘नवसंकल्प चिंतन शिविर’ का आयोजन किया जाएगा जिसमें राजनीतिक, सामाजिक और आर्थिक मुद्दों पर चर्चा की जाएगी.

सुरजेवाला ने प्रशांत किशोर के कांग्रेस में शामिल होने से जुड़े प्रश्नों पर कोई सीधा जवाब नहीं दिया और सिर्फ यह कहा कि ‘जब यह कार्य समूह बन जाएगा, तब इस बारे में सूचित किया जाएगा कि इसमें कौन शामिल है और किसकी क्या भूमिका है.’

सोनिया गांधी ने प्रशांत किशोर के सुझावों पर विचार के लिए गठित आठ सदस्यीय समिति की रिपोर्ट पर वरिष्ठ नेताओं के साथ चर्चा की. कांग्रेस अध्यक्ष के आवास पर तीन घंटे से अधिक समय तक चली बैठक में प्रियंका गांधी वाड्रा, अंबिका सोनी, पी चिदंबरम, मुकुल वासनिक, केसी वेणुगोपाल, दिग्विजय सिंह और कुछ अन्य नेता शामिल हुए.

इस बैठक के बाद सुरजेवाला ने संवाददाताओं से कहा, ‘कांग्रेस अध्यक्ष ने संगठन और राजनीतिक चुनौतियों को देखने और परखने के लिए आठ सदस्यीय समिति का गठन किया था. इस समिति ने 21 अप्रैल को अपनी रिपोर्ट सौंप दी. सोनिया गांधी ने आज इस समूह के सदस्यों के साथ मंत्रणा की. इसके बाद उन्होंने यह निर्णय लिया कि भविष्य की राजनीतिक चुनौतियों से निपटने के लिए ‘इम्पॉवर्ड एक्शन ग्रुप’ का गठन किया जाएगा.’

उन्होंने बताया, ‘कांग्रेस अध्यक्ष ने यह फैसला भी किया है कि 13, 14 और 15 मई को ‘नवसंकल्प चिंतन शिविर’ का आयोजन किया जाएगा. इसमें 400 से अधिक नेता और कार्यकर्ता भाग लेंगे. नवंसकल्प शिविर में राजनीतिक सामाजिक और आर्थिक चुनौतियों पर चर्चा होगी.’

सुरजेवाला ने कहा, ‘मौजूदा सरकार में समाज के विभिन्न वर्गों- दलितों, पिछड़ों, आदिवासियों, अल्पसंख्यकों और किसानों के अधिकारों पर जो कुठाराघात हो रहा है, इससे जुड़े मुद्दों पर चिंतन शिविर में विचार किया जाएगा. संगठन को मजबूत करने पर भी इस चिंतन शिविर में मंथन किया जाएगा.’

उन्होंने कहा, ‘2024 के लोकसभा चुनाव में क्या रणनीति रहेगी, इस पर भी निर्णय लिया जाएगा.’

गौरतलब है कि प्रशांत किशोर ने पिछले दिनों कांग्रेस नेतृत्व के समक्ष पार्टी को मजबूत करने और अगले लोकसभा चुनाव की तैयारियों के संदर्भ में विस्तृत प्रस्तुति दी थी. उनके सुझावों पर विचार करने के लिए सोनिया गांधी ने आठ सदस्यीय समिति का गठन किया था.

सूत्रों ने बताया कि किशोर ने सुझाव दिया है कि उत्तर प्रदेश, बिहार और ओडिशा जैसे कुछ राज्यों में कांग्रेस को नए सिरे से अपनी रणनीति बनानी चाहिए और इन प्रदेशों में गठबंधन से परहेज करना चाहिए.

कांग्रेस सूत्रों के अनुसार, अपनी प्रस्तुति में प्रशांत किशोर ने यह भी कहा कि कांग्रेस को लगभग 370 लोकसभा सीट पर ध्यान केंद्रित करना चाहिए और महाराष्ट्र, पश्चिम बंगाल एवं तमिलनाडु में गठबंधन के साथ चुनावी मैदान में उतरना चाहिए.

भाषा हक हक उमा

उमा

यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेंट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.


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