scorecardresearch
Friday, 28 June, 2024
होमराजनीतिमदन मोहन झा के इस्तीफे के बाद बिहार में कांग्रेस के सामने नया अध्यक्ष बनाने की चुनौती

मदन मोहन झा के इस्तीफे के बाद बिहार में कांग्रेस के सामने नया अध्यक्ष बनाने की चुनौती

मदन मोहन झा ने गुरुवार को दिल्ली में कांग्रेस नेता राहुल गांधी से मुलाकात के बाद इस्तीफा दे दिया था.

Text Size:

नई दिल्ली: बिहार कांग्रेस के करीब 4 साल तक अध्यक्ष रहे मदन मोहन झा के इस्तीफे के बाद प्रदेश में पार्टी के सामने नए अध्यक्ष के चुनाव की चुनौती है.

बिहार में कांग्रेस के प्रभारी भक्त चरण दास ने शुक्रवार को कहा, ‘मदन मोहन झा ने इस्तीफा दे दिया है. प्रदेश में एमएलसी चुनाव के बाद उन्होंने कहा कि ये कांग्रेस को दोबारा खड़ा करने और नई समिति बनाने का समय है.’

भक्त चरण दास ने कहा, ‘इसकी प्रक्रिया शुरू हो गई है. नई समिति जल्द ही बनाई जाएंगी.’

मदन मोहन झा ने गुरुवार को दिल्ली में कांग्रेस नेता राहुल गांधी से मुलाकात के बाद इस्तीफा दे दिया था. इसके अलावा उन्होंने पार्टी के संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल और प्रदेश प्रभारी भक्त चरण दास से भी मुलाकात की थी.

उन्होंने कहा था, ‘राहुल गांधी जी के साथ बिहार में पार्टी के कार्यक्रमों को लेकर बातचीत हुई. मैंने उन्हें विधान परिषद चुनाव में पार्टी के प्रदर्शन के बारे में अवगत कराया. प्रदेश अध्यक्ष के पद को लेकर चर्चा नहीं हुई.’

झा ने कहा था, ‘अध्यक्ष का मेरा कार्यकाल पहले ही पूरा हो चुका है. नए अध्यक्ष के बारे में नेतृत्व फैसला करेगा.’

कांग्रेस महासचिव तारिक अनवर ने कहा था कि पिछले कुछ समय से बिहार ईकाई के प्रमुख के लिए नए शख्स की जरूरत महसूस की जा रही है. उन्होंने कहा था, ‘वरिष्ठ नेता और राज्य के पूर्व मंत्री तथा इस समय विधान परिषद के सदस्य झा ने शालीन तरीके से इस्तीफा देकर रास्ता साफ कर दिया है.’

अनवर ने कहा था कि पार्टी आलाकमान नए प्रदेश अध्यक्ष के लिए संभावित नामों पर विचार कर रहा है.

हालांकि समाचार एजेंसी पीटीआई-भाषा ने पार्टी सूत्रों के हवाले से दावा किया था कि अगर राहुल गांधी की इच्छा के अनुसार फैसला लिया गया तो कन्हैया कुमार भी पार्टी की पसंद हो सकते हैं.

एक रिपोर्ट के अनुसार बिहार में कांग्रेस दलित या अल्पसंख्यक कोटे से किसी को अपना नया प्रदेश अध्यक्ष बना सकती है.


यह भी पढ़ें: शिवपाल यादव ने अपनी पार्टी की कार्यकारिणी भंग की, समान नागरिक संहिता का भी किया समर्थन


 

share & View comments