लखनऊ, 21 दिसंबर (भाषा) भारतीय जनता पार्टी द्वारा उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव के लिए शुक्रवार को जारी उम्मीदवारों की दूसरी सूची में 60 प्रतिशत टिकट अन्य पिछड़ा वर्ग और अनुसूचित समाज को दिया गया है।
उत्तर प्रदेश सरकार में वरिष्ठ मंत्री एवं सरकार के प्रवक्ता सिद्धार्थ नाथ सिंह ने कहा कि भाजपा की 85 उम्मीदवारों की दूसरी सूची में पिछड़ा, दलित, महिला, सामान्य सभी वर्गों की पर्याप्त भागीदारी की छाप है।
उन्होंने कहा कि दूसरी सूची में करीब 60 प्रतिशत (49 सीटें) ओबीसी और अनुसूचित समाज को दी गई हैं।
सिंह ने कहा कि दूसरी सूची में भाजपा ने 15 महिलाओं को जबकि सामान्य वर्ग के 36 उम्मीदवारों को जगह दी है। उन्होंने कहा कि सही अर्थों में भाजपा का ‘सबका साथ, सबका विकास’ का सिद्धांत इस सूची में नज़र आ रहा है।
मंत्री ने कहा कि पार्टी ने टिकट बंटवारे में विविधता का पूरा ध्यान रखा है। इन उम्मीदवारों के निर्वाजित होकर विधानसभा में पहुंचने पर सभी वर्गों और समुदायों की उपस्थिति को बल मिलेगा।
भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने बृहस्पतिवार को उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव के लिए 85 उम्मीदवारों की एक और सूची जारी की जिसमें 15 महिलाएं हैं।
इसके साथ ही भाजपा ने उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव के लिए अब तक 194 उम्मीदवारों के नामों का ऐलान कर दिया है। भाजपा ने पहली सूची में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य सहित 107 उम्मीदवारों के नामों की घोषणा की थी। इसके बाद पार्टी ने बरेली जिले की दो और सीटों के लिए उम्मीदवारों के नाम की घोषणा की थी।
उत्तर प्रदेश की 403 सदस्यीय विधानसभा के लिए सात चरणों में मतदान होना है।
गौरतलब है कि 2017 के विधानसभा चुनाव में भाजपा को 312 और उसके सहयोगियों को 13 सीटों पर जीत मिली थी। सत्ता गंवाकर प्रमुख विपक्षी दल बनी समाजवादी पार्टी सिर्फ 47 सीटों पर जीत हासिल कर सकी थी।
उत्तर प्रदेश में चुनाव की शुरुआत 10 फरवरी को राज्य के पश्चिमी हिस्से के 11 जिलों की 58 सीटों पर मतदान के साथ होगी। दूसरे चरण में 14 फरवरी को राज्य की 55 सीटों पर मतदान होगा। उत्तर प्रदेश में 20 फरवरी को तीसरे चरण में 59 सीटों पर, 23 फरवरी को चौथे चरण में 60 सीटों पर, 27 फरवरी को पांचवें चरण में 60 सीटों पर, तीन मार्च को छठे चरण में 57 सीटों पर और सात मार्च को सातवें चरण में 54 सीटों पर मतदान होगा।
भाषा जफर रंजन अर्पणा
अर्पणा
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