पटना, 17 अप्रैल (भाषा) बिहार के पटना जिले की एक अदालत ने बृहस्पतिवार को जबरन वसूली के एक मामले में राजद विधायक रीतलाल यादव और उनके तीन सहयोगियों को 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में भेज दिया। मामले में वांछित यादव और उसके साथियों ने आज दिन में दानापुर अदालत के समक्ष आत्मसमर्पण कर दिया था। दानापुर निर्वाचन क्षेत्र का प्रतिनिधित्व करने वाले राजद विधायक और उनके तीन सहयोगी चिक्कू यादव, पिंकू यादव और श्रवण यादव को 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया। दानापुर अदालत में पत्रकारों से बात करते हुए यादव ने कहा, ‘मैं एक राजनीतिक साजिश का शिकार हूं… मेरी जान को खतरा है… मेरी हत्या हो सकती है। अगर मैं जिंदा रहा तो जमानत के लिए कागजात दाखिल करूंगा। कुछ अधिकारी हैं जो मेरे खिलाफ हैं… मैं दोहराता हूं: मेरी जान को खतरा है।’ विधायक ने आरोप लगाया, ‘पिछले कई महीनों से मुझे खत्म करने की साजिश रची जा रही थी। मुझे मारने के लिए कुछ अधिकारियों ने मेरे प्रतिद्वंद्वियों को एक अत्याधुनिक हथियार उपलब्ध कराया था।’ पटना-पश्चिम के पुलिस अधीक्षक (एसपी) शरत आर एस ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया कि यादव ने पटना की दानापुर अदालत में आत्मसमर्पण किया है और उसके खिलाफ अन्य कार्यवाहियां की जा रही हैं।’ उन्होंने कहा, ‘‘वह और उनके सहयोगी फिरौती के एक मामले में वांछित थे।’’ बिहार पुलिस ने 11 अप्रैल को पटना में जबरन वसूली के एक मामले की जांच के सिलसिले में राजद विधायक रीतलाल यादव और उनके करीबियों के कई ठिकानों पर छापेमारी की थी। पुलिस ने पटना के दानापुर और अन्य इलाकों में 11 स्थानों पर छापेमारी की थी। यह कार्रवाई एक बिल्डर की शिकायत पर दर्ज प्राथमिकी के आधार पर की गई थी, जिसमें यादव और पांच अन्य को आरोपी बनाया गया था। शिकायतकर्ता ने आरोप लगाया था कि उसे बीते कुछ दिनों से आरोपियों की ओर से फिरौती और जान से मारने की धमकी मिल रही थी। साथ ही, संपत्ति से संबंधित कुछ दस्तावेजों में कथित फर्जीवाड़े का भी आरोप लगाया गया था। शिकायतकर्ता पटना के खगौल इलाके में एक अपार्टमेंट का निर्माण करवा रहा था। पुलिस ने कहा था कि तलाशी के दौरान कई आपत्तिजनक दस्तावेज और सामग्री जब्त की गई थी, जिनमें 10 लाख रुपये नकद, 77 लाख रुपये के चेक, छह खाली चेक, संपत्ति के क्रय-विक्रय से संबंधित 14 रजिस्ट्री दस्तावेज और 17 चेकबुक शामिल हैं। पुलिस के अनुसार, 11 अप्रैल को छापेमारी के दौरान सभी आरोपी फरार थे। भाषा ‘He and his associates were wanted in an extortion case,’ the SP said.
Bihar Police had on April 11 conducted searches at several locations related to the RJD MLA and his close associates as part of its investigation into the extortion case.
Police had conducted the searches at 11 places in Danapur and other localities in the state capital after registering an FIR against Yadav and five others on the basis of a complaint filed by a Patna-based builder.
‘The complainant (builder) alleged that he was getting extortion and life-threatening calls from the accused for the last several days. There were also allegations that the accused forged certain documents related to a property.
‘The complainant was constructing an apartment in Khagaul area of Patna. During the searches, police seized several incriminating documents and materials, including Rs 10 lakh in cash, cheques of Rs 77 lakh, six blank cheques, 14 deed documents related to the sale and purchase of properties and 17 cheque books,’ Patna Police had said on April 11.
All accused were absconding when searches were conducted in Patna on April 11. PTI PKD ACD04171349NNNN राखी नरेशनरेश
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