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Thursday, 19 December, 2024
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PM Modi ने लोगों से फुले, आम्बेडकर से जुड़ी जगहों की यात्रा की अपील की, कहा- बहुत कुछ सीखने को मिलेगा

पीएम ने 'मन की बात' कार्यक्रम में आगे आने वाली महात्मा फुले और बाबासाहेब अम्बेडकर को उनकी जयंती पर याद किया और कहा कि उन्होंने भेदभाव और असमानता के खिलाफ लगातार लड़ाई लड़ी.

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नई दिल्ली: पीएम मोदी ने रविवार को कहा कि महात्मा फुले और बाबासाहेब अंबेडकर भारतीय समाज पर गहरा प्रभाव छोड़ा, प्रधानमंत्री ने लोगों से अपील की वे इनसे जुड़ी जगहों की यात्रा करें.

रेडियो सेवा की अपने मन की बात कार्यक्रम के 87वें एपिसोड को संबोधित करते हुए पीएम ने लोगों यह भी अपील की कि लोग कोलकाता स्थित विक्टोरिया मेमोरियल की बिप्लोबी भारत गैलरी भी जाएं, जो कि भारत के बहादुर क्रांतिकारियों को श्रद्धांजलि देने के लिए एक यूनीक गैलरी है.

उन्होंने कहा कि देश में आजादी का अमृत महोत्सव अब जनभागीदारी का नया उदाहरण बनता जा रहा है. कुछ दिन पहले 23 मार्च को शहीद दिवस पर देश के अलग-अलग कोनों में कई समारोह हुए. देश ने वीरों-नायिकाओं को उनकी स्वतंत्रता के योगदान को लेकर याद किया. उसी दिन, मुझे विक्टोरिया मेमोरियल, कोलकाता में बिप्लोबी भारत गैलरी राष्ट्र को समर्पित करने का अवसर मिला. भारत के बहादुर क्रांतिकारियों को श्रद्धांजलि देने के लिए यह एक बहुत ही अनोखी गैलरी है. अवसर मिले तो, आपको निश्चित रूप से इसे देखना चाहिए.’

उन्होंने आगे आने वाली महात्मा फुले और बाबासाहेब अम्बेडकर को उनकी जयंती याद किया और कहा कि उन्होंने भेदभाव और असमानता के खिलाफ लगातार लड़ाई लड़ी.

उन्होंने कहा, ‘दोस्तों, अप्रैल के महीने में हम दो महान हस्तियों की जयंती भी मनाएंगे. उन दोनों ने भारतीय समाज पर गहरा प्रभाव डाला है. ये महान हस्तियां हैं महात्मा फुले और बाबासाहेब अम्बेडकर. हम 11 अप्रैल को महात्मा फुले की जयंती मनाएंगे और 14 अप्रैल को बाबासाहेब की जयंती.’

पीएम मोदी ने कहा कि महात्मा फुले ने उस दौर में लड़कियों के लिए स्कूल खोले और कन्या भ्रूण हत्या के खिलाफ आवाज उठाई. उन्होंने कहा, ‘उन्होंने जल संकट के मुद्दे के समाधान के लिए बड़े अभियान भी शुरू किए.’

पीएम मोदी ने कहा कि उन्हें बाबासाहेब अंबेडकर से जुड़े सभी स्थानों पर जाने का सौभाग्य मिला है.

‘यह हम सभी के लिए सौभाग्य की बात है कि हमें बाबासाहेब से जुड़े पंच तीर्थ के लिए भी काम करने का अवसर मिला है. चाहे वह महू में उनका जन्मस्थान हो, मुंबई में चैत्यभूमि हो, लंदन में उनका घर हो, नागपुर में दीक्षा भूमि हो, या दिल्ली में बाबासाहेब के महा-परिनिर्वाण स्थल हो, मुझे सभी स्थानों, सभी पवित्र स्थलों पर जाने का सौभाग्य मिला है. मैं ‘मन की बात’ के श्रोताओं से महात्मा फुले, सावित्रीबाई फुले और बाबासाहेब अंबेडकर से जुड़े स्थानों पर जाने का आग्रह करूंगा. आपको वहां बहुत कुछ सीखने को मिलेगा.’

पीएम मोदी ने कई सामाजिक संस्थाओं के निर्माण में सावित्रीबाई फुले के योगदान को भी याद किया. उन्होंने कहा कि एक शिक्षक और समाज सुधारक के रूप में सावित्रीबाई फुले ने समाज में जागरूकता के लिए काम किया.

प्रधानमंत्री ने कहा, ‘महात्मा फुले के संदर्भ में सावित्रीबाई फुले का उल्लेख भी उतना ही महत्वपूर्ण है. सावित्रीबाई फुले ने कई सामाजिक संस्थाओं के निर्माण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई. एक शिक्षक और एक समाज सुधारक के रूप में, उन्होंने समाज को जागरूक और प्रोत्साहित भी किया. दोनों ने मिलकर सत्यशोधक समाज…की स्थापना की. उन्होंने लोगों के सशक्तीकरण के लिए प्रयास किए. हम बाबासाहेब अम्बेडकर के काम में महात्मा फुले के प्रभाव को स्पष्ट रूप से देख सकते हैं. वे यह भी कहते थे कि किसी भी समाज के विकास का आकलन उस समाज में उस समाज में महिलाओं की स्थिति को देखकर किया जा सकता है.’

उन्होंने आगे कहा कि स्कूलों में बेटियों का नामांकन बढ़ाने के लिए कुछ दिन पहले कन्या शिक्षा प्रवेश उत्सव भी शुरू किया गया है, जिसमें उन लड़कियों को स्कूल वापस लाने पर ध्यान केंद्रित किया गया है जो अपनी पढ़ाई छोड़ चुकी हैं.


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