कोटा, 11 जुलाई (भाषा) लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने शुक्रवार को कहा कि ‘एक पेड़ मां के नाम’ अभियान सिर्फ पेड़ लगाने से कहीं अधिक है। उन्होंने कहा कि यह आने वाली पीढ़ियों के लिए एक स्थायी भविष्य प्रदान करने हेतु पर्यावरण संरक्षण की प्रतिबद्धता है।
राजस्थान के कोटा-बूंदी निर्वाचन क्षेत्र से सांसद बिरला ने शुक्रवार को शहर के सामाजिक संगठनों, बुद्धिजीवियों और छात्रों के साथ अपने निर्वाचन क्षेत्र के खेल संकुल मैदान खेल परिसर में श्रावण मास के पहले दिन ‘बिल्व’ का पौधा रोपा।
उन्होंने कार्यक्रम के दौरान, ‘कार्यस्थल से मातृभूमि तक’ अभियान के अंतर्गत जल संरक्षण से संबंधित पहलों की भी शुरुआत की।
बिरला ने इस अवसर पर आयोजित कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि बूंदी केवल एक शहर नहीं है, बल्कि शौर्य, आस्था और सांस्कृतिक विरासत का जीवंत प्रतीक है। यह हाड़ी रानी की भूमि है, जहां किले, बावड़ियां और घाटियां अद्भुत विरासत के उदाहरण हैं। उन्होंने आने वाली पीढ़ियों को इन मूल्यों से जोड़ने के लिए बूंदी में एक भव्य संग्रहालय बनाने की योजना की घोषणा की।
बिरला ने खेल परिसर के प्रथम चरण की प्रगति का उल्लेख करते हुए कहा कि यहां सिंथेटिक फुटबॉल मैदान, लॉन टेनिस कोर्ट, शूटिंग रेंज और अन्य खेल सुविधाएं विकसित की जाएंगी।
उन्होंने कहा कि परिसर में एक आधुनिक पुस्तकालय भी स्थापित किया जाएगा, जिससे खिलाड़ियों के लिए एक ही स्थान पर सभी खेल सुविधाएं उपलब्ध होंगी।
बिरला ने राजस्थान में वर्षा जल संचयन और भूजल पुनर्भरण की सदियों पुरानी परंपरा को रेखांकित किया। उन्होंने बताया कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से प्रेरित होकर, केंद्र सरकार के जल संसाधन मंत्रालय ने ‘कार्यस्थल से मातृभूमि तक’ अभियान शुरू किया है।
इसके बाद, बिरला ने बूंदी सर्किट हाउस में जनता से बातचीत की तथा सड़क, पेयजल, बिजली, स्वास्थ्य और प्रशासनिक सेवाओं से संबंधित उनकी समस्याएं सुनीं।
भाषा धीरज रंजन
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