scorecardresearch
Sunday, 29 September, 2024
होमदेशएमवीए सरकार ने दाऊद से संबंध रखने वाले व्यक्तियों को वक्फ बोर्ड में नियुक्त किया: फडणवीस

एमवीए सरकार ने दाऊद से संबंध रखने वाले व्यक्तियों को वक्फ बोर्ड में नियुक्त किया: फडणवीस

Text Size:

मुंबई, 14 मार्च (भाषा) भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) नेता एवं महाराष्ट्र में विपक्ष के नेता देवेंद्र फडणवीस ने सोमवार को राज्य की महा विकास आघाड़ी (एमवीए) सरकार पर राज्य के वक्फ बोर्ड में भगोड़े गैंगस्टर एवं आतंकवादी दाऊद इब्राहिम से संबंध रखने वाले लोगों को नियुक्त करने का आरोप लगाया।

हालांकि, सत्तारूढ़ गठबंधन की सहयोगी राकांपा ने इस आरोप को खारिज कर दिया और आरोप लगाया गया कि फडणवीस द्वारा उल्लिखित पदाधिकारी को बोर्ड में तब मनोनीत किया गया था, जब भाजपा राज्य में सत्ता में थी।

फडणवीस ने विधानसभा में कहा कि उन्होंने जो पेन ड्राइव जमा की थी, जिसमें वक्फ बोर्ड के सदस्यों मोहम्मद अरशद खान और मुदस्सिर लांबे के बीच बातचीत है।

फडणवीस ने सदन को बताया कि बातचीत के दौरान, लांबे ने दावा किया कि उनके ससुर इब्राहिम के सहयोगी थे, जबकि खान ने कहा कि उनके एक रिश्तेदार अंडरवर्ल्ड का हिस्सा थे।

राज्य के गृह मंत्री दिलीप वलसे पाटिल ने निचले सदन को बताया कि लांबे को वक्फ बोर्ड में एमवीए द्वारा नियुक्त नहीं किया गया था। उन्होंने कहा, ‘‘वह 30 अगस्त 2019 से एक निर्वाचित सदस्य हैं। हम देखेंगे कि उनके खिलाफ कैसे कार्रवाई की जा सकती है।’’

भाजपा नेता फडणवीस ने आरोप लगाया कि खान जेल में है, जबकि बलात्कार के आरोपों का सामना करने के बावजूद लांबे बाहर है।

वर्तमान में जेल में बंद कैबिनेट मंत्री नवाब मलिक की बेटी सना मलिक-शेख ने हालांकि फडणवीस के आरोप को खारिज किया। वह वक्फ विभाग संभालती हैं।

सना मलिक-शेख ने फडणवीस के दावे का खंडन करते हुए कहा कि यह उनके (2014-19) नेतृत्व वाली राज्य की पूर्ववती सरकार थी जिसने लांबे को बोर्ड में नियुक्त किया था, जिस पर भाजपा नेता ने दाऊद इब्राहिम के साथ संबंध रखने का आरोप लगाया है।

राकांपा की एक शाखा, राष्ट्रवादी युवती कांग्रेस की महाराष्ट्र इकाई की उपाध्यक्ष सना मलिक-शेख ने पूर्व मुख्यमंत्री पर पलटवार किया और लांबे की फडणवीस के साथ एक तस्वीर ट्विटर पर साझा की।

इसके बाद महाराष्ट्र कांग्रेस के महासचिव सचिन सावंत ने ‘तथाकथित डॉ लांबे के साथ भाजपा के संबंध’ की जांच की मांग की और गृह मंत्री दिलीप वलसे पाटिल से नये खुलासे पर ध्यान देने का आग्रह किया।

अल्पसंख्यक मामलों के मंत्री एवं राकांपा के एक वरिष्ठ नेता नवाब मलिक वर्तमान में इब्राहिम की गतिविधियों से जुड़े एक कथित धनशोधन की जांच के सिलसिले में न्यायिक हिरासत में हैं।

सना मलिक-शेख ने ट्वीट किया, ‘‘आधा सच पूरा झूठ होता है। डॉ. लांबे को 13 सितंबर 2019 को फडणवीस/भाजपा सरकार द्वारा वक्फ बोर्ड का सदस्य नियुक्त किया गया था। महा विकास आघाड़ी सरकार का गठन नवंबर 2019 में हुआ था। मेरे पिता को जनवरी 2020 के पहले सप्ताह में अल्पसंख्यक/वक्फ विभाग मिला था।’’

अधिकारियों के अनुसार, लांबे बलात्कार के एक मामले में अग्रिम जमानत पर बाहर है, जबकि खान इस साल जनवरी में चार अन्य लोगों के साथ हथियार कानून के एक मामले में पकड़े जाने के बाद से ठाणे जेल में बंद है। साथ ही डीजल चोरी के एक मामले में धाइघर पुलिस द्वारा उसके खिलाफ जांच की जा रही है।

उन्होंने बताया कि लांबे को पिछले साल जनवरी में तब गिरफ्तार किया गया था, जब खान की पूर्व पत्नी ने उस पर बलात्कार का आरोप लगाया था। खान की पूर्व पत्नी ने पीटीआई-भाषा से बात करते हुए, दावा किया कि दाऊद इब्राहिम के साथ संबंध रखने के बारे में उसकी (खान की) बातचीत खोखला दावा है।

कई बार कोशिश करने के बावजूद लांबे से टिप्पणी के लिए सम्पर्क नहीं हो सका।

भाषा अमित दिलीप

दिलीप

यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.

share & View comments