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शुक्रवार, 16 मई, 2025
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पहाड़ी लोगों के खिलाफ कथित अपमानजनक टिप्पणी के लिए मंत्री का पुतला फूंका गया

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ऋषिकेश, 22 फरवरी (भाषा) उत्तराखंड विधानसभा की कार्यवाही के दौरान कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल द्वारा पहाड़ी लोगों के खिलाफ कथित तौर पर अपमानजनक टिप्पणी किए जाने के विरोध में स्थानीय लोगों ने शनिवार को यहां प्रदर्शन किया और उनका पुतला फूंका।

अग्रवाल ने शुक्रवार को विधानसभा में विपक्ष की एक टिप्पणी पर नाराजगी जताते हुए कहा था कि उन्हें ‘पहाड़ी’ और ‘देसी’ शब्दों का इस्तेमाल नहीं करना चाहिये। उन्होंने कहा था कि लोग उत्तराखंड को राज्य का दर्जा दिलाने के लिए यह सब देखने के लिए नहीं लड़े हैं। इसके बाद मंत्री और विपक्षी सदस्यों के बीच तीखी बहस हुई थी।

उत्तराखंड स्वाभिमान मोर्चा के बैनर तले लोगों ने विरोध जताने के लिए मंत्री की सांकेतिक शवयात्रा निकाली और उनका पुतला जलाया।

मंत्री के बैराज रोड स्थित कैंप कार्यालय के सामने प्रदर्शन किया गया और वहां उनका पुतला भी जलाया गया।

ऋषिकेश गंगा बैराज रोड स्थित कैबिनेट मंत्री के कैंप कार्यालय के पास बड़ी संख्या में प्रदर्शनकारी पहुंच गए, जिसके बाद वहां भारी संख्या में पुलिस बल तैनात किया गया।

कैंप कार्यालय की ओर जाने वाली सड़क पर अवरोधक लगाकर इसे बंद कर दिया गया। प्रदर्शनकारियों ने करीब एक घंटे तक अग्रवाल के खिलाफ प्रदर्शन किया। राज्य के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की सरकार में अग्रवाल वित्त, शहरी विकास और संसदीय मामलों का प्रभार संभाल रहे हैं।

उत्तराखंड स्वाभिमान मोर्चा के नेता सुधीर राय ने कहा कि कैबिनेट मंत्री को पहाड़ी समुदाय का अपमान करने का कोई अधिकार नहीं है। उन्होंने कहा कि वह पहाड़ी समुदाय के समर्थन से ही लगातार चार बार ऋषिकेश से चुनाव जीते हैं।

राय ने कहा कि यह शर्म की बात है कि सदन में सत्तारूढ़ दल का कोई भी नेता इस ‘‘अभद्रता’’ के बारे में कुछ नहीं बोल रहा है। उन्होंने कहा कि मंत्री के खिलाफ प्रदर्शन जारी रहेगा।

ऋषिकेश नगर निगम से निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में महापौर का चुनाव लड़ चुके दिनेश चंद्र मास्टर ने आरोप लगाया कि मंत्री (अग्रवाल) बार-बार पहाड़ी समुदाय को निशाना बना रहे हैं। उन्होंने कहा कि अब वह सदन की मर्यादा को भी तार-तार कर रहे हैं। उत्तराखंड के मूल निवासी इसे बर्दाश्त नहीं करेंगे।

भाषा प्रीति रंजन

रंजन

यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेंट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.

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