लातेहार (झारखंड), 10 अक्टूबर (भाषा) झारखंड की राजधानी रांची से करीब 110 किलोमीटर दूर लातेहार जिले में दीवानी अदालत का घेराव कर रहे ताना भगत आदिवासी समुदाय के लोगों को तितर-बितर करने के लिए सोमवार को पुलिस ने आंसू गैस के गोले छोड़े और पानी की बौछार की। इस दौरान पत्थरबाजी भी गई।
आदिवासियों ने प्रधान न्यायाधीश के चेंबर को करीब पांच घंटे तक बंद रखा। उनकी मांग है कि अदालत को बंद किया जाए क्योंकि जिला प्रशासन इलाके में प्रचलित संवैधानिक प्रावधानों को नजर अंदाज कर रहा है।
पुलिस उपाधीक्षक संतोष मिश्रा ने बताया कि आक्रोशित प्रदर्शनकारियों ने मौके पर पहुंचे जिला प्रशासन और पुलिस के अधिकारियों से बातचीत करने से इनकार कर दिया और पत्थरबाजी शुरू कर दी जिसमें सात पुलिस कर्मी घायल हो गए।
उन्होंने बताया कि घायलों में एक पुलिस निरीक्षक और तीन महिला कांस्टेबल शामिल हैं।
उन्होंने बताया कि प्रदर्शनकारियों ने अदालत को बंद करने की मांग को लेकर नारेबाजी की और सड़क मार्ग बाधित कर दिया जिसके बाद पुलिस को स्थिति को संभालने के लिए आंसू गैस के गोले छोड़ने पड़े और पानी की बौछार करनी पड़ी।
अखिल भारतीय ताना भगत संघ के प्रदर्शनकारियों और कार्यकर्ताओं ने दावा किया कि संविधान की पांचवीं अनुसूची के तहत लातेहार में अदालत का परिचालन और बाहरी लोगों के रोजगार एवं प्रवेश पर रोक है। उन्होंने कहा कि तबतक प्रदर्शन किया जाएगा जबतक सरकारी संस्थानों, पुलिस और न्यायपालिका को उन्हें सौंप नहीं दिया जाता।
भाषा धीरज वैभव
वैभव
यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेंट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.