चेन्नई, 12 मार्च (भाषा) जमीन पर कब्जा करने सहित तीन मामलों से जुड़े आरोपों में गिरफ्तार अन्नाद्रमुक के वरिष्ठ नेता और तमिलनाडु के पूर्व मत्स्य पालन मंत्री डी. जयकुमार को मद्रास उच्च न्यायालय से सशर्त जमानत मिलने के बाद शनिवार को उन्हें यहां केंद्रीय जेल से रिहा कर दिया गया।
इससे पहले जयकुमार को दो मामलों में जमानत प्रदान की गई थी, जिनमें कथित तौर पर फर्जी मतदान करने को लेकर द्रमुक सदस्य से झगड़ा और मतदान केंद्र पर कब्जा करने को लेकर द्रमुक सदस्यों के साथ झड़प के बाद मार्ग अवरूद्ध करने संबंधी मामला शमिल है।
जेल से बाहर आए जयकुमार का अन्नाद्रमुक नेताओं और कार्यकर्ताओं ने जोरदार स्वागत किया। बाद में, पार्टी समन्वयक ओ. पनीरसेल्वम और सह-समन्वयक के. पलानीस्वामी ने जयकुमार से उनके आवास पर मुलाकात की।
करीब 20 दिनों तक जेल में रहे जयकुमार ने सत्तारूढ़ द्रमुक पर राजनीतिक प्रतिशोध का आरोप लगाया।
जयकुमार ने जेल के बाहर संवाददाताओं से कहा, ”स्टालिन की द्रमुक को लगता है कि वह अन्नाद्रमुक नेताओं के खिलाफ मामले दर्ज करके पार्टी को खत्म कर सकती है। भले ही हजारों स्टालिन आ जाएं, लेकिन अन्नाद्रमुक को नष्ट नहीं किया जा सकता।”
उन्होंने आरोप लगाया कि जेल में पीने के लिए पानी या सोने के लिए चटाई तक नहीं थी।
अन्नाद्रमुक नेता ने कहा, ”मुझे फर्श पर सोना पड़ा।”
भाषा शफीक दिलीप
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