नयी दिल्ली, चार अगस्त (भाषा) वित्त वर्ष 2030-31 तक 500 अरब डॉलर के इलेक्ट्रॉनिक्स विनिर्माण लक्ष्य को हासिल करने के लिए औद्योगिक और बुनियादी ढांचा इलेक्ट्रॉनिक्स पर ध्यान देना जरूरी है।
उद्योग निकाय इंडिया सेल्युलर एंड इलेक्ट्रॉनिक्स एसोसिएशन (आईसीईए) ने सोमवार को यह बात कही।
आईसीईए ने एक बयान में कहा कि भारत के इलेक्ट्रॉनिक्स उद्योग का भविष्य उत्पादों के विनिर्माण के साथ ही उन वस्तुओं को बनाने पर भी निर्भर करेगा, जो कारखानों, शहरों और परिवहन नेटवर्क को स्वचालित करेंगे।
उद्योग निकाय ने कहा कि औद्योगिक इलेक्ट्रॉनिक्स को भारत की इलेक्ट्रॉनिक्स विकास रणनीति का केंद्रबिंदु होना चाहिए।
आईसीईए ने बयान में 2030-31 तक भारत के 500 अरब अमेरिकी डॉलर के इलेक्ट्रॉनिक्स विनिर्माण लक्ष्य को हासिल करने के लिए औद्योगिक और बुनियादी ढांचा इलेक्ट्रॉनिक्स को प्राथमिकता देने के लिए कहा।
आईसीईए के चेयरमैन पंकज मोहिंद्रू ने कहा कि औद्योगिक इलेक्ट्रॉनिक्स क्षेत्र को राष्ट्रीय रणनीतिक प्राथमिकता के रूप में मान्यता दी जानी चाहिए।
उन्होंने कहा, ”यह हर अत्याधुनिक विनिर्माण व्यवस्था का मस्तिष्क और तंत्रिका तंत्र है। औद्योगिक स्वचालन में नेतृत्व के बिना भारत वास्तविक विनिर्माण नेतृत्व का दावा नहीं कर सकता।”
मोहिंद्रू ने कहा कि औद्योगिक इलेक्ट्रॉनिक्स में उच्च कौशल वाले कामगारों के लिए रोजगार की अपार संभावनाएं हैं।
भाषा पाण्डेय रमण
रमण
यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेंट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.