नयी दिल्ली, 11 अगस्त (भाषा) भारी उद्योग मंत्रालय ने बृहस्पतिवार को वाहन क्षेत्र के पीएलआई आवेदक की ईआरपी (एंटरप्राइज रिसोर्स प्लानिंग) प्रणाली से महत्वपूर्ण डेटा पाने के लिए एक स्वचालित ऑनलाइन डेटा स्थानांतरण प्रणाली शुरू की।
इसके तहत पीएलआई ऑटो पोर्टल पर घरेलू मूल्य संवर्धन (डीवीए) से जुड़े आंकड़े हासिल किए जाएंगे।
पीएलआई योजना के सभी स्वीकृत आवेदकों की अपनी ईआरपी प्रणाली है। ईआरपी एक प्रकार का सॉफ्टवेयर है, जिसका उपयोग संगठन व्यावसायिक गतिविधियों के प्रबंधन के लिए करते हैं।
आईटी सक्षम प्रणाली आवेदक की वर्तमान ईआरपी प्रणाली से डेटा को भारी उद्योग मंत्रालय के पीएलआई ऑटो पोर्टल पर हस्तांतरित करेगी।
भारी उद्योग मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि एप्लिकेशन प्रोग्रामिंग इंटरफेस (एपीआई) आवेदक की ईआरपी प्रणाली के साथ जुड़ेगा और इस योजना में स्वचालित व कागज रहित प्रसंस्करण हो सकेगा।
बयान में आगे कहा गया कि सामान्य स्थितियों में आवेदकों को बड़े स्तर पर दावा दायर करने की जरूरत पड़ती है। यह सुविधा ऑटोमेशन से बड़े स्तर पर कागजी कार्रवाई को खत्म कर देती है। इस प्रकार यह आईटी सक्षम प्रणाली एक ओर आवेदकों के अनुपालन बोझ को कम करेगी और दूसरी ओर दावों का तेजी से निपटारा करेगी।
इस प्रणाली को प्रमुख ओईएम तथा वाहन कलपुर्जा बनाने वाली कंपनियों के साथ ही सभी हितधारकों की सलाह के बाद तैयार किया गया है।
इस अवसर पर केंद्रीय भारी उद्योग मंत्री महेंद्र नाथ पांडेय ने कहा कि ये प्रक्रियाएं पारदर्शिता, कारोबार सुगमता, आमने-सामने आए बिना और स्व-प्रमाणन आधारित मूल्यांकन तथा कागज रहित वितरण को सक्षम बनाने के लिए महत्वपूर्ण कदम हैं।
उन्होंने आगे कहा कि इस प्रणाली से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मेक इन इंडिया और आत्मनिर्भर भारत अभियान को बड़ा प्रोत्साहन मिलेगा।
भाषा पाण्डेय अजय
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