नयी दिल्ली, 11 मार्च (भाषा) केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (एनएसई) के को-लोकेशन मामले में पूर्व समूह परिचालन अधिकारी (जीओओ) आनंद सुब्रमण्यन की जमानत अर्जी का विरोध किया है।
सीबीआई ने शुक्रवार को जमानत याचिका का विरोध करते हुए कहा कि पूर्व अधिकारी सुब्रमण्यन ने ही ‘हिमालय का योगी’ बनने का नाटक किया और पूर्व प्रबंध निदेशक एवं मुख्य कार्यकारी अधिकारी चित्रा रामकृष्ण के निर्णयों को प्रभावित किया था।
सीबीआई के वकील ने कहा कि सुब्रमण्यन पूछताछ के दौरान टालमटोल करता रहा और उसके भाग जाने का जोखिम था लिहाजा उसे जमानत नहीं दी जानी चाहिए।
इस पर विशेष न्यायाधीश संजीव अग्रवाल ने कहा, ‘‘आप (सुब्रमण्यन) कथित तौर पर हिमालय के वह योगी हैं जो दैवीय शक्तियों के साथ हिमालय के ऊंचे इलाकों में रह रहे हैं। सीबीआई चार साल से निष्क्रिय थी और वह अब जागी है। मुझे नहीं पता कि इसकी क्या वजह है।’’
न्यायाधीश ने सीबीआई के वकील के साथ-साथ सुब्रमण्यन की याचिका सुनने के बाद जमानत अर्जी पर फैसला सुरक्षित रख लिया और 24 मार्च को फैसला सुनाने के लिए सूचीबद्ध किया। सुब्रमण्यन वर्तमान में न्यायिक हिरासत में हैं।
भाषा जतिन प्रेम
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