मुंबई, 26 अप्रैल (भाषा) क्षेत्रीय मुद्राओं और घरेलू बाजार में सुधार के कारण मंगलवार को डॉलर के मुकाबले रुपया आठ पैसे चढ़कर 76.56 प्रति डॉलर (अस्थायी) पर बंद हुआ।
कारोबारियों ने बताया कि कच्चे तेल की कीमतों में गिरावट के कारण रुपये को मजबूती मिली।
उन्होंने बताया कि चीन में कोविड-19 महामारी के प्रसार के कारण लगाए गए प्रतिबंधों और अमेरिका में ब्याज दरों में आक्रामक वृद्धि की आशंकाओं के कारण घरेलू मुद्रा में लाभ सिमट गया।
अंतरबैंक विदेशी मुद्रा विनिमय बाजार में रुपया 76.48 प्रति डॉलर पर मजबूती के साथ खुला। कारोबार के दौरान रुपया 76.43 के उच्चतम और 76.69 प्रति डॉलर के निचले स्तर तक गया। अंत में रुपया 76.56 प्रति डॉलर के स्तर पर बंद हुआ, जो पिछले बंद भाव के मुकाबले आठ पैसे की वृद्धि दर्शाता है।
विश्लेषकों ने कहा कि शेयर बाजारों में तेजी और मई के पहले सप्ताह के दौरान एलआईसी के आईपीओ के बाजार में आने की खबर से भी रुपये को समर्थन मिला है।
एचडीएफसी सिक्योरिटीज के शोध विश्लेषक दिलीप परमार ने कहा, ‘‘लगातार दो दिन गिरने के बाद क्षेत्रीय मुद्राओं और घरेलू बाजार में सुधार के कारण रुपये में आज मजबूती दर्ज की गई।’’
उन्होंने कहा, ‘‘कच्चे तेल और जिंसों की कीमतों में गिरावट तथा एलआईसी के आईपीओ से घरेलू बाजार में निवेश की उम्मीदों से भी रुपये को समर्थन मिला।’’
बीएसई का 30 शेयरों वाला सेंसेक्स 776.72 अंक उछलकर 57,356.61 अंक पर और नेशनल स्टॉक एक्सचेंज का निफ्टी 246.85 अंक की वृद्धि के साथ 17,200.80 अंक पर पहुंच गया।
वैश्विक मानक ब्रेंट कच्चा तेल वायदा 0.49 प्रतिशत की गिरावट लेकर 101.82 डॉलर प्रति बैरल पर आ गया।
इस बीच, छह मुद्राओं की तुलना में डॉलर का आकलन करने वाला डॉलर सूचकांक 0.06 की मजबूती के साथ 101.81 पर कारोबार कर रहा था।
शेयर बाजार के आंकड़ों के अनुसार, विदेशी संस्थागत निवेशक पूंजी बाजार में शुद्ध बिकवाल रहे। उन्होंने मंगलवार को 1,174.05 करोड़ रुपये के शेयर बेचे।
भाषा जतिन अजय
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