नयी दिल्ली, 14 मार्च (भाषा) रक्षा मंत्रालय ने उन्नत मध्यम लड़ाकू विमान (एएमसीए) के डिजाइन और प्रोटोटाइप विकास के लिए प्रधान मंत्री के नेतृत्व वाली सीसीएस की मंजूरी प्राप्त करने की प्रक्रिया शुरू कर दी है। रक्षा राज्य मंत्री अजय भट्ट ने सोमवार को सह जानकारी दी।
भारत अपनी वायु शक्ति क्षमता को महत्वपूर्ण रूप से बढ़ाने के लिए उन्नत स्टील्थ सुविधाओं के साथ पांचवीं पीढ़ी के मध्यम वजन के गहरे पैठ वाले लड़ाकू जेट को विकसित करने के लिए महत्वाकांक्षी एएमसीए परियोजना पर काम कर रहा है।
परियोजना की प्रारंभिक विकास लागत लगभग 15,000 करोड़ रुपये आंकी गई थी।
दुनिया के कुछ चुनिंदा देशों जैसे अमेरिका, रूस और चीन के पास पांचवीं पीढ़ी के स्टील्थ फाइटर जेट हैं।
भट्ट ने परियोजना के बारे में पूछे गये एक सवाल के जवाब में राज्यसभा में कहा, ‘‘हां, सर। एडवांस्ड मीडियम कॉम्बैट एयरक्राफ्ट (एएमसीए) के डिजाइन और प्रोटोटाइप विकास के लिए सुरक्षा मामलों की मंत्रिमंडलीय समिति (सीसीएस) की मंजूरी प्राप्त करने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है।’’
मंत्री ने कहा, ‘‘पांचवीं पीढ़ी के लड़ाकू विमान, अपनी खास विशेषताओं के कारण, चौथी पीढ़ी के लड़ाकू विमानों की तुलना में महंगे हैं। चूंकि एएमसीए पांचवीं पीढ़ी का स्वदेशी विमान है, इसलिए यह बाहर उपलब्ध अपनी तरह के समान विमानों की तुलना में कम खर्चीला है।’’
अक्टूबर में, वायु सेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल चौधरी ने कहा कि आईएएफ, एएमसीए परियोजना के लिए पूरी तरह से प्रतिबद्ध है।
हल्के लड़ाकू विमान (एलसीए) तेजस के विकास के बाद एएमसीए के विकास करने के संदर्भ में भारत के विश्वास में उल्लेखनीय उछाल आया।
भाषा राजेश राजेश माधव
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