लखनऊ : कंज्यूमर फोरम ने शुक्रवार को उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव और ट्रेजरी विभाग को एक पत्र भेजकर लखनऊ के जिलाधिकारी कौशल राज शर्मा के वेतन को रोकने के लिए कहा, जो एक शख्स की एक विग कंपनी से मुआवजा पाने में मदद नहीं कर रहे हैं.
Rajshri Shukla, Lucknow Consumer Forum: In 2010, a man had won a case&as per order,money was to be refunded to him by a wig company.We wrote multiple times to the DM to ensure the order is followed but it wasn't done.We had to do this so that the DM&dist admn takes action.(18.07) pic.twitter.com/I7bQ8vJxhW
— ANI UP (@ANINewsUP) July 19, 2019
ठाकुरगंज स्थित कंघी टोला के रहने वाले डॉ. मोहम्मद मन्नान ने 2010 में हजरतगंज के अशोक टावर स्थित इनोवेट क्योर कंपनी से हेयर विग खरीदी थी. इसकी कीमत 9,800 रुपये थी. कुछ दिन बाद डॉ. मन्नान ने उपभोक्ता फोरम में शिकायत की कि कंपनी ने जो दावे किए थे, प्रॉडक्ट वैसा नहीं है, गुणवत्ता भी घटिया है.
उपभोक्ता फोरम के न्यायाधीश राजर्षि शुक्ला ने कहा कि शर्मा ने 2010 के उपभोक्ता मामले के संबंध में फोरम के आदेश को लागू नहीं किया. 2010 में, उपभोक्ता फोरम ने शर्मा को एक विग कंपनी से एक व्यक्ति को मुआवजा प्राप्त करने में सहायता करने के लिए कहा था लेकिन फोरम से कई रिकवरी नोटिस और गैर-जमानती वारंट के बाद भी, अधिकारी ने मामले में कोई प्रयास नहीं किया.
शुक्ला ने बताया, ‘2010 में, एक कंपनी से विग खरीदने वाले शिकायतकर्ता ने उपभोक्ता अदालत में केस जीता था. अदालत ने राज्य अधिकारियों से पीड़ित को मुआवजा दिलाने में मदद करने के लिए कहा था. यह नौ साल का मामला है, कोई कार्रवाई नहीं की गई है. इस संबंध में शख्स को विग कंपनी से मुआवजा मिलना बाकी है. लंबित मामले को देखने के बाद, उपभोक्ता फोरम ने उत्तर प्रदेश कोषाध्यक्ष और मुख्य सचिव को जिला मजिस्ट्रेट कौशल राज शर्मा के वेतन को रोकने के लिए कहा था.’
उपभोक्ता अदालत के आदेश का पालन नहीं करने पर फोरम के न्यायाधीश ने लखनऊ के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक कलानिधि नैथानी का वेतन रोकने का भी आदेश दिया है.
शुक्ला ने कहा है कि अदालत का आदेश मिलने के बावजूद नैथानी ने एक शख्स के लिए दुकानदार से उसके दोपहिया वाहन के लिए मुआवजे को लेकर कोई प्रयास नहीं किया.