हैदराबाद, चार अगस्त (भाषा) भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) विधान परिषद सदस्य (एमएलसी) और तेलंगाना जागृति की अध्यक्ष के कविता ने कांग्रेस सरकार से पिछड़ी जातियों (बीसी) के लिए प्रस्तावित 42 प्रतिशत आरक्षण में मुसलमानों को शामिल नहीं करते हुए उनके लिए अलग से कोटा निर्धारित करने की सोमवार को मांग की।
यहां इंदिरा पार्क में पिछड़ा वर्ग (बीसी) आरक्षण मुद्दे के समर्थन में 72 घंटे की भूख हड़ताल शुरू करने वाली कविता ने बीसी के लिए प्रस्तावित 42 प्रतिशत आरक्षण में मुसलमानों को शामिल करने के भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के विरोध का हवाला दिया।
उन्होंने कहा, ‘‘(कांग्रेस सरकार) को खुलेआम घोषणा करनी चाहिए कि मुसलमानों को 10 प्रतिशत आरक्षण देने के लिए विधानसभा में एक अलग विधेयक पेश किया जाएगा। हम मांग करते हैं कि 42 प्रतिशत में मुस्लिम अल्पसंख्यकों को दिए जाने वाले आरक्षण को शामिल नहीं किया जाए और उन्हें अलग से 10 प्रतिशत आरक्षण दिया जाए। तब (पिछड़ों के लिए 42 प्रतिशत कोटा स्वीकृत करने) की जिम्मेदारी भाजपा पर होगी।’’
कविता ने कांग्रेस सरकार से यह स्पष्ट करने को कहा कि क्या मुसलमान प्रस्तावित 42 प्रतिशत में शामिल हैं या नहीं।
कविता ने दावा किया कि कांग्रेस सरकार ने उनके विरोध प्रदर्शन के लिए केवल सुबह 10 बजे से शाम चार बजे तक की अनुमति दी है, जो उनके द्वारा मांगे गए 72 घंटों की तुलना में बहुत कम है। उन्होंने कहा कि उनका संगठन 72 घंटे की भूख हड़ताल की अनुमति मांगने के लिए उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाएगा।
हाल ही में बीआरएस नेताओं के खिलाफ आलोचनात्मक टिप्पणियां करती रही कविता अपने नेतृत्व वाले सांस्कृतिक संगठन तेलंगाना जागृति के बैनर तले राजनीतिक गतिविधियों का आयोजन कर रही हैं।
कविता के अनशन पर प्रतिक्रिया देते हुए राज्य के पिछड़ा वर्ग मंत्री पूनम प्रभाकर ने कहा कि एमएलसी को अपना अनशन दिल्ली में करना चाहिए, क्योंकि इस मुद्दे पर निर्णय राष्ट्रीय राजधानी में लिया जाना है।
तेलंगाना विधानसभा ने मार्च में शिक्षा, रोजगार और स्थानीय निकायों में पिछड़ी जातियों के लिए आरक्षण को बढ़ाकर 42 प्रतिशत करने के लिए दो विधेयक पारित किए थे।
मुख्यमंत्री ए. रेवंत रेड्डी और अन्य कांग्रेस नेताओं ने पिछड़ा वर्ग आरक्षण विधेयक पर राष्ट्रपति की मंजूरी की मांग को लेकर छह अगस्त को दिल्ली के जंतर-मंतर पर धरना देने की योजना बनाई है।
भाषा यासिर माधव
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