कोलकाता: गणतंत्र दिवस पर पश्चिम बंगाल की झांकी के प्रस्ताव को मंजूरी नहीं मिलने को लेकर बृहस्पतिवार को तृणमूल कांग्रेस ने भाजपा नीत केंद्र सरकार पर हमला बोला. गणतंत्र दिवस पर इस साल कुल 22 झांकियां दिखाई जाएंगी.
सरकार के पास कुल 56 झांकियों का प्रपोजल आया था जिसमें पश्चिम बंगाल की झांकी का प्रपोजल खारिज हो गया है. इनमें 16 राज्यों-केंद्र शासित प्रदेशों की और 6 केंद्रीय मंत्रालयों की झांकियां होंगी.
तृणमूल कांग्रेस ने कहा कि संशोधित नागरिकता कानून के खिलाफ राज्य में प्रदर्शन के परिणामस्वरूप यह निर्णय लिया गया. उसने इसे राज्य और यहां की जनता का अपमान बताया.
रक्षा मंत्रालय ने बुधवार को पश्चिम बंगाल की झांकी का प्रस्ताव खारिज कर दिया था.
मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि पश्चिम बंगाल सरकार का प्रस्ताव एक विशेषज्ञ समिति द्वारा दो चरण में पड़ताल करने के बाद खारिज हुआ है.
मंत्रालय ने कहा था, ‘यहां यह जानकारी देना आवश्यक है कि पश्चिम बंगाल सरकार की झांकी को गणतंत्र दिवस 2019 में हिस्सा लेने के लिए शॉर्टलिस्ट किया गया था. यह इसी प्रक्रिया के जरिए चुनी गई थी.’
इसमें आगे कहा गया, ‘विशेषज्ञ समिति ने दूसरी बैठक में सोच विचार के बाद पश्चिम बंगाल सरकार की झांकी के प्रस्ताव को आगे नहीं बढ़ाया.’
मंत्रालय को राज्यों एवं केंद्र शासित प्रदेशों से झांकियों के 32 और केंद्रीय मंत्रालयों एवं विभागों से 24 प्रस्ताव मिले थे.
मंत्रालय द्वारा जारी बयान बयान में कहा गया है, ‘पांच बैठकों के बाद उनमें से राज्यों/केंद्रशासित प्रदेशों के 16 और मंत्रालयों/विभागों के छह प्रस्ताव मिलाकर कुल 22 प्रस्ताव अंतिम रूप से गणतंत्र दिवस परेड 2020 के लिए चुने गए हैं.’
पश्चिम बंगाल में संसदीय मामलों के मंत्री तापस रॉय ने आरोप लगाया कि केंद्र की भाजपा नीत सरकार ने राज्य के प्रति बदले की भावना पाल रखी है.
उन्होंने कहा कि चूंकि पश्चिम बंगाल केंद्र सरकार की जनविरोधी नीतियों का विरोध कर रही है इसलिए उसके साथ सौतेला व्यवहार हो रहा है.
TMC leader Madan Mitra on 'Central govt rejected proposal of West Bengal tableau for Republic day parade in Delhi': It's not new in the history of Bengal. Delhi is afraid of Bengal. They can cancel the tableau of Bengal in Delhi but Bengal will cancel NRC and CAA in Bengal. pic.twitter.com/Ei9SwIDDa2
— ANI (@ANI) January 2, 2020
टीएमसी नेता मदन मित्रा ने झांकी को ख़ारिज करने पर कहा, यह बंगाल के इतिहास में नया नहीं है. दिल्ली को बंगाल से डर लगता है. वे दिल्ली में बंगाल की झांकी को रद्द कर सकते हैं, तो बंगाल राज्य में एनआरसी और सीएए को रद्द कर देगा.
इन आरोपों के जवाब में पश्चिम बंगाल के भाजपा अध्यक्ष दिलीप घोष ने कहा कि झांकी का प्रस्ताव इसलिए खारिज हुआ क्योंकि राज्य सरकार ने प्रस्ताव पेश करने में नियमों एवं प्रक्रिया का पालन नहीं किया था. उन्होंने कहा कि तृणमूल कांग्रेस को हर मुद्दे पर राजनीति करना बंद करना चाहिए.