हरिद्वार, 27 सितंबर (भाषा) अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत रवींद्र पुरी ने शनिवार को हरिद्वार के कुछ हिस्सों में लगे ‘आई लव मोहम्मद’ पोस्टरों की निंदा की।
पुरी ने यहां संवाददाताओं से कहा, ‘‘इस देश में हर कोई अपने अराध्य से प्रेम करने के लिए स्वतंत्र है। सनातनियों के रूप में, हम भगवान शिव, राम और कृष्ण से भी प्रेम करते हैं। लेकिन हम ऐसा घोषित करते हुए पोस्टर नहीं लगाते। यह गलत है।’’
उन्होंने यह भी दावा किया कि यह कुछ राज्यों में चुनाव नजदीक होने के कारण हिंदुओं और मुसलमानों को बांटने की कोशिश कर रहे लोगों का काम हो सकता है।
पुरी ने दावा किया, ‘‘बिहार जैसे राज्यों में चुनाव होने वाले हैं, हो सकता है इसलिए ऐसा किया जा रहा हो। कुछ लोगों को लगता हो कि हिंदू-मुस्लिम करने से उन्हें कुछ चुनावी फायदा होगा।’’
सूत्रों ने बताया कि शहर के ज्वालापुर इलाके में ‘आई लव मोहम्मद’ के पोस्टर लगे हैं।
जिलाधिकारी अविनाश सिंह ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘स्थिति अब सामान्य और नियंत्रण में है। किसी अप्रिय घटना की सूचना नहीं है। हम लोगों से शांति और सद्भाव बनाए रखने की अपील कर रहे हैं।’’
इस विवाद का संबंध नौ सितंबर से है जब कानपुर पुलिस ने चार सितंबर को ईद मिलाद-उन नबी के जुलूस के दौरान कानपुर की एक सार्वजनिक सड़क पर कथित तौर पर ‘आई लव मोहम्मद’ लिखे बोर्ड लगाने के आरोप में नौ नामजद और 15 अज्ञात लोगों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की थी।
पोस्टर लगाए जाने पर हिंदू संगठनों ने आपत्ति जताई और इसे एक ‘नया चलन’ करार दिया और आरोप लगाया कि यह जानबूझकर उकसाने वाला कदम है।
ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (एआईएमआईएम) प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी द्वारा एक सोशल मीडिया पोस्ट में यह दावा करने के बाद कि ‘आई लव मोहम्मद’ कहना कोई अपराध नहीं है, इस विवाद ने और अधिक तूल पकड़ लिया।
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शफीक प्रशांत
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