( प्रादे 68 आमुख में एक शब्द जोड़ते हुए रिपीट)
चंडीगढ़, 26 अप्रैल (भाषा) कांग्रेस अनुशासन समिति ने मंगलवार को पंजाब इकाई के पूर्व प्रमुख सुनील जाखड़ को दो साल के लिये निलंबित करने की सिफारिश की, जिसके तुरंत बाद जाखड़ ने पार्टी को ”गुड लक” (शुभकामनाएँ) कह दिया। हालांकि उन्होंने अपनी योजनाओं के बारे में बताने से इनकार किया।
पत्रकारों ने जाखड़ से अनुशासन समिति की सिफारिश पर प्रतिक्रिया मांगी, तो उन्होंने कहा, ”मैं कांग्रेस को शुभकामनाएँ देता हूं।” जब उनसे अगले कदम के बारे में पूछा गया तो उन्होंने टिप्पणी करने से इनकार कर दिया।
दिल्ली में मंगलवार को सुबह हुई बैठक के बाद कांग्रेस अनुशासन समिति ने पार्टी की अध्यक्ष सोनिया गांधी को अपनी सिफारिशें सौंप दीं, जो इस पर आवश्यक निर्णय लेंगी।
समिति की बैठक से पहले जाखड़ ने कटाक्ष करते हुए कहा कि जिनके पास अभी भी जमीर है, उन्हें दंडित किया जाएगा।
कांग्रेस अनुशासन समिति ने 11 अप्रैल को जाखड़ को कथित पार्टी विरोधी गतिविधियों के लिए ‘कारण बताओ’ नोटिस जारी किया और एक सप्ताह के भीतर जवाब दाखिल करने को कहा था।
हालांकि, जाखड़ ने समिति को जवाब नहीं देने का फैसला किया।
जाखड़ ने एक ट्वीट में कहा, “आज, सर कलम होंगे उनके, जिनमें अभी जमीर बाकी है। (आज जमीर वालों का सिर कलम किया जाएगा)। (जावेद अख्तर साहब से माफी मांगता हूं)।”
जाखड़ ने पूर्व मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी की आलोचना की थी और पंजाब में आम आदमी पार्टी (आप) से कांग्रेस की हार के बाद उन्हें पार्टी के लिए एक बोझ करार दिया था।
पूर्व मंत्री राजकुमार वरका सहित कुछ पार्टी नेताओं ने जाखड़ पर एक टीवी चैनल को दिए साक्षात्कार में चन्नी और अनुसूचित जाति समुदाय के खिलाफ आपत्तिजनक भाषा का इस्तेमाल करने का आरोप लगाते हुए उन पर कार्रवाई की मांग की थी।
हालांकि, जाखड़ ने इन आरोपों को खारिज किया था और कहा था कि उनके बयान को तोड़-मरोड़कर पेश किया गया था और उसका गलत मतलब निकाला गया था। कांग्रेस नेता ने यह भी कहा था कि अगर कोई उनके बयान से आहत हुआ है तो वह इस पर खेद जताते हैं।
जाखड़ ने इससे पहले तब खलबली मचा दी थी, जब उन्होंने पिछले साल अमरिंदर सिंह के अचानक हटने के बाद दावा किया था कि पंजाब के 42 विधायक उन्हें मुख्यमंत्री बनाना चाहते हैं और केवल दो विधायक चन्नी के समर्थन में हैं।
अमरिंदर के हटने के बाद जाखड़ मुख्यमंत्री पद की दौड़ में सबसे आगे थे। हालांकि, उनके मुख्यमंत्री बनने की संभावनाएं तब कम हो गई थीं, जब पार्टी नेता अंबिका सोनी ने कहा था कि कांग्रेस को किसी सिख को मुख्यमंत्री बनाना चाहिये।
भाषा जोहेब मनीषा
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