नई दिल्ली: संयुक्त जिला शिक्षा सूचना प्रणाली प्लस (यूडीआईएसई+) की रिपोर्ट के अनुसार 2019-20 में मिडिल स्कूल के साथ-साथ प्राइमरी क्लासेज (1 से 5) में स्कूल छोड़ने के मामले में लड़कियों की तुलना में लड़कों की संख्या अधिक रही है. जबकि उच्च प्राथमिक कक्षाओं (6-8) में स्कूल छोड़ने वाली लड़कियों की संख्या लड़कों की तुलना में अधिक थी.
रिपोर्ट में कहा गया है कि देश में माध्यमिक स्तर पर स्कूल छोड़ने की कुल दर 17 प्रतिशत से अधिक है, जबकि उच्च प्राथमिक कक्षाओं (6 से 8) और प्राथमिक स्तर पर यह क्रमशः 1.8 और 1.5 प्रतिशत है.
लड़कों की प्राथमिक कक्षाओं में स्कूल छोड़ने की दर 1.7 प्रतिशत जबकि लड़कियों की 1.2 प्रतिशत थी. इसी तरह माध्यमिक कक्षाओं में स्कूल छोड़ने की लड़कियों की दर 16.3 प्रतिशत जबकि लड़कों की दर 18.3 प्रतिशत रही.
पहली बार शैक्षणिक वर्ष 2012-13 के लिए शिक्षा मंत्रालय द्वारा जारी किया गया, यह स्कूली शिक्षा पर सबसे बड़ी प्रबंधन सूचना प्रणाली में से एक है. इसमें 15 लाख से अधिक स्कूल, 85 लाख शिक्षक और 25 करोड़ स्कूली बच्चे शामिल हैं. यूडीआईएसई+, यूडीआईएसई का एक अपडेटेड वर्जन है.
यूडीआईएसई डेटा का उपयोग स्कूली शिक्षा के स्तर को मापने के लिए विभिन्न अन्य मापदंडों की गणना के लिए भी किया जाता है, जैसे कि प्रदर्शन ग्रेडिंग इंडेक्स जो इस महीने की शुरुआत में जारी किया गया था.
बता दें कि लड़कियों के एडमिशन के डाटा से पता चलता है कि 2019-20 में प्री-प्राइमरी से उच्च माध्यमिक स्तर तक कुल 26.45 करोड़ छात्रों ने नामांकन किया था, जो कि 2018-19 सत्र की तुलना में 42.3 लाख अधिक है. सभी स्तरों पर लड़कियों के एडमिशन में वृद्धि हुई, जो पूर्व-प्राथमिक स्तर पर सबसे अधिक 14.2 प्रतिशत लड़कियों को शैक्षणिक वर्ष 2018-19 की तुलना में 2019-20 में प्री-प्राइमरी स्तर पर नामांकित किया गया था.
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