हाई टैक्स लेवी घटाकर दामों में कमी लाने के लिए सरकार के प्रयासों के बावजूद पिछले 6 महीनों में खाद्य तेलों की कीमतों में तेज उछाल देखा गया है. जून में खाद्य तेलों में मुद्रास्फीति 34.78% पर पहुंच गई थी.
ब्यौरे के मुताबिक सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों में धोखाधड़ी की यह रकम वित्तीय वर्ष 2019-20 के मुकाबले 44.75 प्रतिशत कम है, हालांकि अब सार्वजनिक बैंक 18 से 12 रह गए हैं.
मनमोहन सिंह 1991 में नरसिम्हा राव की अगुवाई में बनी सरकार में वित्त मंत्री थे और 24 जुलाई, 1991 को अपना पहला बजट पेश किया था. इस बजट को देश में आर्थिक उदारीकरण की बुनियाद माना जाता है.
सेंसेक्स में सबसे अधिक तीन प्रतिशत की तेजी बजाज फाइनेंस में हुई. इसके अलावा टाटा स्टील, एचडीएफसी बैंक, एचयूएल, आईसीआईसीआई बैंक और इंफोसिस भी बढ़त दर्ज करने वाले प्रमुख शेयरों में शामिल थे.
दिप्रिंट को दिए एक इंटरव्यू में भूतपूर्व योजना आयोग के पूर्व उपाध्यक्ष ने अर्थव्यवस्था से जुड़े बहुत सारे विषयों पर बात की- जैसे सुधार, संरक्षणवाद, व्यापार, विकास आदि.
चालू वित्त वर्ष की पहली अप्रैल-जून की तिमाही में देश से कुल वाहन निर्यात बढ़कर 14,19,430 इकाई पर पहुंच गया. इससे पिछले वित्त वर्ष की समान तिमाही में यह आंकड़ा 4,36,500 इकाई का रहा था.
भारत सरकार कोविड के भुक्तभोगियों को राहत देने के लिए उस आमदनी और संपत्ति पर टैक्स दरों में वृद्धि न करने पर क्यों अडिग है जिन पर पहले से ही कम टैक्स लगाया जा रहा है?
भारत में केंद्र द्वारा नियोजित अर्थव्यवस्था की शुरुआत 1950 के दशक में प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू के अधीन हुई थी लेकिन 1991 में आकर वह अचानक चरमरा गई और देश भारी संकट में फंस गया.
सुब्रमण्यम ने कहा कि देश को महामारी के प्रकोप से बचाने के लिए टीकाकरण बहुत जरूरी है. टीकाकरण से कोविड-19 को एक सामान्य संक्रमण में तब्दील करना भी महत्वपूर्ण है.
जगजीत सिंह डल्लेवाल के नेतृत्व में किसानों के लिए ‘एमएसपी’ की कानूनी गारंटी की मांग को लेकर चल रहा आंदोलन 2020-21 में नए कृषि कानूनों के खिलाफ चले आंदोलन की छाया मात्र है क्योंकि एमएसपी आज पहले की तरह प्रमुख मुद्दा नहीं रह गया है.