नयी दिल्ली, दो दिसंबर (भाषा) संसद की एक समिति ने मंगलवार को वैधानिक अधिकार के साथ एक मजबूत, स्वतंत्र राष्ट्रीय सांख्यिकी आयोग (एनएससी) की जरूरत पर जोर दिया।
वित्त पर संसद की स्थायी समिति ने कहा कि ऐसा करने से सरकारी आंकड़ों की विश्वसनीयता सुनिश्चित होगी।
समिति ने सांख्यिकी एवं कार्यक्रम कार्यान्वयन मंत्रालय से संबंधित ‘एनएससी के कार्य-निष्पादन की समीक्षा’ पर अपनी 27वीं रिपोर्ट मंगलवार को संसद में पेश की।
रिपोर्ट में कहा गया है कि आधिकारिक और निजी आंकड़ों में विसंगतियों के कारण एकसमान मानकों के अभाव में जनता का भरोसा कम हो रहा है।
समिति ने सिफारिश की है कि एनएससी को नोडल एजेंसी के रूप में सशक्त बनाया जाए ताकि वह पद्धतियां निर्धारित कर सके, डेटा प्रक्रियाओं में समन्वय स्थापित कर सके और एक स्थायी तकनीकी समिति के जरिये निजी एजेंसियों तथा विशेषज्ञों को शामिल कर सके।
समिति ने कहा, ”एनएससी को वैधानिक अधिकारों के साथ एक मजबूत, स्वतंत्र राष्ट्रीय सांख्यिकी आयोग बनाने और उसे सांख्यिकी का नोडल राष्ट्रीय निकाय बनाने की जरूरत है ताकि सरकारी आंकड़ों की विश्वसनीयता बनी रहे।”
समिति ने राष्ट्रीय सांख्यिकी प्रणाली में कृत्रिम मेधा (एआई) को एकीकृत करने, डेटा की दक्षता, सटीकता और समयबद्धता बढ़ाने तथा कार्यबल की क्षमता निर्माण पर जोर दिया।
रिपोर्ट में साथ ही एआई के जिम्मेदारीपूर्ण उपयोग के लिए स्पष्ट नैतिक ढांचा और दिशानिर्देश बनाने की आवश्यकता बताई।
भाषा पाण्डेय रमण
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