नयी दिल्ली, 11 नवंबर (भाषा) तृणमूल कांग्रेस ने मंगलवार को भारत निर्वाचन आयोग पर पश्चिम बंगाल में जारी विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) कवायद के बीच बूथ-स्तरीय एजेंट (बीएलए) की नियुक्ति के नियमों में “चुपचाप” संशोधन करने का आरोप लगाया।
पार्टी ने ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा, “निर्वाचन आयोग ने चुपचाप और चालाकी से बूथ लेवल एजेंटों (बीएलए) की नियुक्ति को नियंत्रित करने वाले नियमों में संशोधन किया है।”
इससे पहले, टीएमसी ने कहा कि चुनाव आयोग के 2023 के दिशानिर्देशों के अनुसार, बीएलए को मतदाता सूची के संबंधित भाग में पंजीकृत मतदाता होना चाहिए, जिसके लिए उसे नियुक्त किया गया है।
पार्टी ने कहा, “लेकिन नए संशोधित निर्देश में कहा गया है कि, ‘मतदाता सूची के उसी भाग से बूथ स्तरीय एजेंट (बीएलए) की अनुपलब्धता की स्थिति में, उसी विधानसभा क्षेत्र के किसी भी पंजीकृत मतदाता से बूथ स्तरीय एजेंट नियुक्त किया जा सकता है।’”
तृणमूल कांग्रेस ने कहा कि इससे “गंभीर सवाल” खड़े होते हैं।
याचिका में पूछा गया, “मौजूदा मानदंडों के अनुसार, बीएलओ को उसी बूथ या कम से कम उसी मतदान केंद्र से संबंधित होना चाहिए। फिर केवल बीएलए के लिए ही अपवाद क्यों बनाया गया?”
भाषा प्रशांत शोभना
शोभना
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