(तस्वीर के साथ)
कोच्चि (केरल), 21 फरवरी (भाषा) केंद्रीय वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने शुक्रवार को बंदरगाह सहित राज्य में प्रमुख बुनियादी ढांचा परियोजनाओं का उल्लेख करते हुए ‘सिल्वरलाइन’ को एक परिवर्तनकारी अर्ध-उच्च गति रेल गलियारा बताया जो तिरुवनंतपुरम और कासरगोड को जोड़ेगा।
केरल निवेश वैश्विक शिखर सम्मेलन (आईकेजीएस) में गोयल ने कहा, ‘‘ तिरुवनंतपुरम को कासरगोड से जोड़ने वाली अर्ध-उच्च गति रेलवे लाइन ‘सिल्वरलाइन’ से यात्रा का समय घटकर चार घंटे रह जाएगा।’’
केरल सरकार और रेल मंत्रालय के बीच एक संयुक्त उद्यम ‘के-रेल’ द्वारा विकसित की जाने वाली प्रस्तावित 530 किलोमीटर लंबी रेलवे लाइन व्यापक सार्वजनिक विरोध, राजनीतिक दलों के विरोध और केंद्र सरकार की मंजूरी मिलने में देरी के कारण रुकी हुई है।
इससे पहले, केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव के केरल के प्रौद्योगिकी और पर्यावरणीय चिंताओं का समाधान करने पर इस पर आगे बढ़ने की बात कहने के बाद इस परियोजना को नई उम्मीद मिली थी।
केरल की पिछले साल अपनी यात्रा के दौरान वैष्णव ने कहा था कि उन्होंने नई दिल्ली में मुख्यमंत्री पिनराई विजयन के साथ बैठक में इस पर चर्चा की थी।
इसके बाद, केरल रेल विकास निगम के अधिकारियों ने पिछले वर्ष दिसंबर में दक्षिणी रेलवे के अधिकारियों के साथ चर्चा की।
कांग्रेस और भारतीय जनता पार्टी सहित विपक्षी दल इस परियोजना का विरोध कर रहे हैं, उनका तर्क है कि इससे बड़े पैमाने पर परिवारों का विस्थापन होगा और पर्यावरण को काफी नुकसान पहुंचेगा।
शिखर सम्मेलन में गोयल की टिप्पणियों और उनके केंद्र सरकार के केरल के विकास को लेकर आश्वासन देने से एकबार फिर ‘सिल्वरलाइन’ के भविष्य को लेकर उम्मीद जग रही हैं।
भाषा निहारिका रमण
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