नई दिल्ली: पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की जयंती के एक दिन पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को अटल बिहारी वाजपेयी के सम्मान में 100 रुपये का स्मारक सिक्का जारी किया. अटल बिहारी वाजपेयी का इस साल अगस्त में निधन हो गया था.
संसद भवन एनेक्सी में एक सभा को संबोधित करते हुए मोदी ने कहा कि वाजपेयी ने पार्टी की विचारधारा से कभी समझौता नहीं किया और हमेशा राष्ट्रहित में बोले.
मोदी ने कहा, ‘कुछ लोगों के लिए सत्ता ऑक्सीजन है. वे इसके बिना नहीं रह सकते. अटल जी के कार्यकाल का एक लंबा भाग विपक्ष की बेंच पर गुजरा, लेकिन उन्होंने राष्ट्रीय हित में बोला और कभी भी पार्टी की विचारधारा से समझौता नहीं किया.’
यह भी पढ़ें: वाजपेयी, नवाज़ और मेरे बीच एक राज़ की बात जो अब भी उतनी ही महत्त्वपूर्ण है
मोदी ने कहा, ‘लंबे समय तक अटल जी की आवाज राष्ट्र की आवाज थे.’ उन्होंने कहा, ‘मेरा मानना है कि सत्ता में रहने के लिए दूसरी विचारधाराओं से भी निमंत्रण मिला होगा. ऐसी बातें जरूर हुई होंगी लेकिन उन्होंने कभी समझौता नहीं किया.’
मोदी ने कहा, ‘वह उन लोगों में शामिल थे जो देश के लिए मर सकते थे, लेकिन विचारधारा से समझौता नहीं कर सकते थे.’
मोदी ने कहा कि वाजपेयी लोकतंत्र को सर्वोपरि चाहते थे. उन्होंने जनसंघ बनाया, लेकिन जब लोकतंत्र को बचाने का समय आया तो वह अन्य के साथ जनता पार्टी में चले गए.
वाजपेयी को सबसे अच्छा वक्ता बताते हुए मोदी ने कहा, ‘दिमाग यह मानने को तैयार नहीं होता कि अटल जी हमारे साथ नहीं हैं. उनका समाज के सभी तबकों में सम्मान था.’
यह भी पढ़ें: मोदी जी , वाजपेयी सरकार की आर्थिक गलतियों को न दोहराएं
मोदी ने कहा कि वह मंगलवार को वाजपेयी की जयंती पर उनके दिखाए रास्ते व उनकी विचारधारा के प्रति प्रतिबद्धता को दोहराने के लिए उनके स्मारक पर जाएंगे.
लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन, वित्त मंत्री अरुण जेटली, संस्कृति राज्य मंत्री महेश शर्मा, भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह व भाजपा के वरिष्ठ नेता लाल कृष्ण आडवासी भी सिक्का जारी करने के कार्यक्रम में मौजूद थे.
स्मारक सिक्का आम तौर पर कुछ विशेष मौकों या विशेष हस्तियों के सम्मान में जारी किया जाता है. मोदी ने कहा कि यह सिक्का पूर्व प्रधानमंत्री के प्रति सम्मान प्रदर्शित करने के लिए एक छोटा सा प्रयास है, ‘जिनका जीवन हम सभी के लिए संदेश है.’