कोलकाता, 27 अप्रैल (भाषा) पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने बुधवार को कहा कि उनकी सरकार ने राज्य में पेट्रोल और डीजल की कीमतों पर सब्सिडी देने के लिए पिछले तीन वर्षों में 1,500 करोड़ रुपये खर्च किये हैं।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की मुख्यमंत्रियों के साथ बैठक के कुछ घंटे बाद ममता का यह बयान आया है।
मोदी ने मुख्यमंत्रियों के साथ एक डिजिटल संवाद में विपक्षी दलों द्वारा शासित महाराष्ट्र, केरल और पश्चिम बंगाल जैसे राज्यों में ईंधन की अधिक कीमतों का मुद्दा उठाया तथा राज्य सरकारों से आम आदमी के हित में मूल्य वर्धित कर (वैट) घटाने को कहा।
ममता ने राज्य सचिवालय में संवाददाताओं से कहा, ‘‘प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज पूरी तरह से एकतरफा और गुमराह करने वाला भाषण दिया। उनके (प्रधानमंत्री के) द्वारा साझा किये गये तथ्य गलत थे। हम पेट्रोल और डीजल पर प्रति लीटर एक रुपये की सब्सिडी मुहैया कर रहे हैं। हमने इस पर 1,500 करोड़ रुपये खर्च किये हैं।’’
उन्होंने दावा किया कि बैठक में मुख्यमंत्रियों के लिए अपने विचार रखने की कोई गुंजाइश नहीं थी और इसलिए वह प्रधानमंत्री को जवाब नहीं दे सकीं।
ममता ने ईंधन की कीमतों में कटौती किए जाने की अपनी मांग दोहराते हुए कहा, ‘‘बेहतर होता कि प्रधानमंत्री कोविड-19 समीक्षा बैठक में ईंधन की कीमतों की वृद्धि पर बात नहीं करते।’’
मुख्यमंत्री ने कहा कि केंद्र पर उनकी सरकार का 97,000 करोड़ रुपये बकाया है और इसमें से आधी राशि भी मिल जाए तो वह करों में कमी कर देंगी।
उन्होंने कहा, ” केंद्र पर हमारा 97,000 करोड़ रुपये बकाया है। जिस दिन हमें इसकी आधी राशि भी मिल जाएगी, उसके अगले दिन हम पेट्रोल और डीजल पर 3,000 करोड़ रुपये की सब्सिडी देंगे। मुझे सब्सिडी से कोई समस्या नहीं है लेकिन मैं अपनी सरकार कैसे चलाउंगी?”
इस बीच, तृणमूल कांग्रेस ने प्रधानमंत्री की टिप्पणी को लेकर केंद्र पर हमलावर रुख अपनाया।
तृणमूल कांग्रेस ने ट्वीट कर कहा, ‘‘श्रीमान नरेंद्र मोदी, हम इस महत्वपूर्ण संख्या के बारे में आपका ध्यान आकर्षित करना चाहेंगे… भारत सरकार की ओर से पश्चिम बंगाल को 97,807.91 करोड़ रुपये का भुगतान किया जाना है।’’
ट्वीट में कहा गया, ‘‘हमारा बकाया चुकाने की क्या कोई योजना है?’’
भाषा शफीक अविनाश
अविनाश
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