दियोदर (गुजरात), 19 अप्रैल (भाषा) प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को गुजरात के बनासकांठा जिले के दियोदर में बनास डेयरी परिसर में महिला डेयरी किसानों से बातचीत की और उन्हें अपने पशुओं का टीकाकरण कराने की सलाह दी।
मोदी एक नए डेयरी परिसर और आलू प्रसंस्करण संयंत्र के अलावा बनास डेयरी, एक सहकारी समिति की कई अन्य परियोजनाओं का उद्घाटन करने के लिए दियोदर में थे। स्थानीय महिलाओं के एक छोटे समूह ने कार्यक्रम के दौरान मोदी से मुलाकात की और उनके साथ डेयरी उद्योग का हिस्सा होने और बनास डेयरी तथा सरकार द्वारा प्रदान किए गए समर्थन के अपने अनुभव साझा किए।
प्रधानमंत्री ने महिलाओं से कहा, ‘‘हमारी सरकार ने सभी को कोविड-19 के खिलाफ मुफ्त में टीका लगाया। हम मवेशियों के लिए भी ऐसा ही करते हैं। मवेशियों को बीमारियों से बचाने के लिए उन्हें नियमित रूप से टीका लगाया जाना चाहिए।’’ महिलाओं ने उल्लेख किया कि जब भी कोई जानवर बीमार होता है, तो डेयरी द्वारा प्रदान की जाने वाली सेवा की वजह से 30 मिनट के भीतर एक एम्बुलेंस उनके दरवाजे पर पहुंच जाती है।
मोदी ने जानना चाहा कि क्या वे भी आलू की खेती करती हैं और मधुमक्खी पालन करती हैं। उन्होंने वहां मौजूद महिलाओं में से एक से पूछा, ‘‘आलू उगाने में कितनी मेहनत लगती है?’’ प्रधानमंत्री ने यह भी पूछा कि क्या उन्होंने जिले में भारत-पाक सीमा पर नवविकसित पर्यटक आकर्षण नडाबेट का दौरा किया है। महिलाओं में से एक ने कहा कि वह वहां गई थी। जब प्रधानमंत्री ने पूछा कि क्या वह चाहती हैं कि उनका बेटा सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) में शामिल हो, तो उन्होंने हां में जवाब दिया।
मोदी ने बड़े पैमाने पर ड्रिप (बूंद-बूंद) सिंचाई को अपनाने के लिए जिले के किसानों की भी प्रशंसा की। मोदी से मिलने वालों में कुछ महिलाएं थीं, जिन्होंने दूध की बिक्री से सालाना एक करोड़ रुपये से अधिक की कमाई की। उन्होंने अपने व्यवसाय और कमाई के बारे में बात की। एक महिला ने कहा कि गुजरात सरकार की ज्योतिग्राम योजना से उनके गांव में बिजली पहुंची और इसकी वजह से वह डेयरी फार्मिंग करने में सक्षम हुईं।
प्रधानमंत्री ने उनसे आजादी का अमृत महोत्सव समारोह के तहत जिले में 75 झीलों के निर्माण में योगदान देने की भी अपील की। मोदी ने बनास डेयरी के नए डेयरी परिसर और आलू प्रसंस्करण संयंत्र का उद्घाटन किया, जिसे 600 करोड़ रुपये से अधिक के निवेश से बनाया गया है।
इस नए परिसर से बनास डेयरी में लगभग 30 लाख लीटर दूध को प्रसंस्कृत किया जा सकेगा, लगभग 80 टन मक्खन, एक लाख लीटर आइसक्रीम, 20 टन कंडेंस्ड मिल्क (खोया) और छह टन चॉकलेट का रोजाना उत्पादन करना भी संभव हो पाएगा। मोदी ने 100-100 टन क्षमता के चार गोबर गैस संयंत्रों की आधारशिला भी रखी।
भाषा सुरभि उमा
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