नयी दिल्ली, 24 जनवरी (भाषा) प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने सोमवार को कहा कि उसने तमिलनाडु के एक व्यवसायी की 69.14 करोड़ रुपये की संपत्ति को उसके और उसके परिवार के खिलाफ कथित धोखाधड़ी के मामले से जुड़ी धन शोधन जांच के तहत कुर्क किया है।
धन शोधन निरोधक अधिनियम (पीएमएलए) के प्रावधानों के तहत धनराज कोचर और उनके परिवार की संपत्तियों को कुर्क करने का अस्थाई आदेश जारी किया गया है।
ईडी का मामला चेन्नई पुलिस द्वारा 100 करोड़ रुपये से अधिक की धोखाधड़ी और आपराधिक साजिश के आरोप में व्यवसायी के खिलाफ पहले दर्ज एक अधिसूचित अपराध के आधार पर दर्ज किया गया था।
संघीय एजेंसी ने पिछले साल सितंबर में कारोबारी के परिसर पर छापेमारी की थी।
यह मामला एम एस हमीद, अब्दुल रऊफ और कोचर से संबंधित है, जो डी आर फाउंडेशन एंड एस्टेट्स प्राइवेट लिमिटेड नामक एक रियल एस्टेट कंपनी के निदेशक थे।
एजेंसी ने बयान में कहा कि 2005-06 के दौरान, थिरुपुरूर (चेंगलपट्टू जिला, तमिलनाडु) उप-पंजीयक कार्यालय के तहत सिरुसेरी गांव में संपत्तियां हमीद और उनके परिवार के सदस्यों और उनकी व्यावसायिक इकाई पैरामाउंट बिल्डर्स द्वारा डीआर फाउंडेशन एंड रियल एस्टेट प्राइवेट लिमिटेड में निवेश किए गए धन से खरीदी गई थीं।
एजेंसी का आरोप है कि इन संपत्तियों को कोचर और उनके परिवार के सदस्यों को “चोरी छिपे” स्थानांतरित कर दिया गया था।
ईडी ने कहा कि हमीद द्वारा कंपनी में निवेश की गई रकम से कोचर और उनके परिवार के सदस्यों के नाम पर कुछ संपत्तियां ‘सीधे खरीदी’ गईं।
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प्रशांत माधव
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