नई दिल्ली: पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने मशहूर अभिनेता दिलीप कुमार के निधन पर दुख व्यक्त करते हुए बृहस्पतिवार को कहा कि वह भारतीय सिनेमा के महानतम अभिनेताओं में से एक थे और वह हिंदी फिल्म प्रेमियों के दिलो दिमाग में ‘राजकुमार’ बने रहेंगे.
सिंह ने दिलीप कुमार की पत्नी सायरा बानो को पत्र लिखकर संवेदना प्रकट की. दिलीप कुमार का बुधवार को निधन हो गया. वह 98 साल के थे.
पत्र में मनमोहन सिंह ने कहा, ‘दिलीप कुमार भारतीय सिनेमा की किंवदंती थे जो हिंदी सिने प्रेमियों के दिलो दिमाग पर राज करते रहेंगे. वह हिंदी सिनेमा के महानतम अभिनेताओं में से एक थे जिनका नाम सबसे अधिक बार पुरस्कार जीतने का रिकॉर्ड बनाने को लेकर गिनीज बुक में दर्ज है.’
पूर्व प्रधानमंत्री ने दिलीप कुमार के फिल्मी सफर का उल्लेख करते हुए कहा कि सिनेमा में उनके योगदान को हमेशा याद किया जाएगा.
सोनिया ने कहा- भारतीय सिनेमा के स्वर्णिम युग का अंत हो गया
कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने मशहूर अभिनेता दिलीप कुमार के निधन पर दुख जताते हुए बृहस्पतिवार को कहा कि वह आजीवन किंवदंती रहे और भविष्य में भी रहेंगे तथा उनके जाने से भारतीय सिनेमा के एक स्वर्णिम युग का अंत हो गया.
उनकी पत्नी सायरा बानो को लिखे पत्र में सोनिया ने कला एवं संस्कृति के क्षेत्र में दिलीप कुमार के योगदान को याद किया और कहा कि वह अपने पीछे एक बेशकीमती विरासत छोड़ गए हैं.
उन्होंने कहा, ‘आपके पति श्री दिलीप कुमार के निधन से भारतीय सिनेमा के एक स्वर्णिम युग का अंत हो गया. वह आजीवन किंवदंती रहे और भविष्य में भी रहेंगे. आने वाली पीढ़ियां भी उनकी फिल्मों को देखेंगी.’
सोनिया ने दिलीप कुमार की कई मशहूर फिल्मों का उल्लेख किया और कहा कि उनके निधन से प्रशंसकों को गहरा दुख पहुंचा है.
दिलीप कुमार का बुधवार को निधन हो गया. वह 98 साल के थे.
वैश्विक स्तर पर महानतम अभिनेता थे दिलीप कुमार: लार्ड मेघनाद देसाई
ब्रिटिश भारतीय अर्थशास्त्री लार्ड मेघनाद देसाई ने दिलीप कुमार को श्रद्धांजलि देते हुए उन्हें वैश्विक स्तर का महानतम अभिनेता बताया. कुमार का बुधवार को 98 वर्ष की उम्र में मुंबई में निधन हो गया था. अभिनेता की जीवनी ‘नेहरूज हीरो दिलीप कुमार’ लिखने वाले लार्ड देसाई ने उन्हें अपनी शालीनता के लिए दुनियाभर में सम्मान पाने वाला अभिनेता बताया.
देसाई ने कहा, ‘दिलीप कुमार न केवल हिंदी सिनेमा बल्कि वैश्विक स्तर पर महानतम अभिनेता थे. वह पचास, साठ और सत्तर के दशक के सबसे लोकप्रिय अभिनेता थे.’ उन्होंने कहा, ‘उनके अभिनय का तरीका, पहनावे का ढंग, चाल, शैली को साठ के दशक से फिल्म उद्योग में आने वाले कई युवा अभिनेताओं ने अपनाया. उन्हें नेहरू के भारत के विचार का प्रतिनिधित्व करने और शालीनता के लिए दुनियाभर से सम्मान मिला. अपने 50 साल लंबे करियर में उन्होंने हिंदी और बंगाली में साठ से अधिक फिल्मों में काम किया.’
अनिवासी भारतीय और उद्योगपति लार्ड स्वराज पॉल ने कहा कि कुमार के निधन से भारतीय सिनेमा में एक युग का अंत हो गया है.
गरिमा का प्रतीक थे दिलीप कुमार: जावेद अख्तर
दिलीप कुमार को श्रद्धांजलि देते हुए प्रख्यात गीतकार और लेखक जावेद अख्तर ने कहा कि कुमार अपने समय से बहुत आगे थे और ‘गरिमा, सहृदयता तथा शिष्टता’ का प्रतीक थे. कुमार का 98 वर्ष की उम्र में बुधवार को निधन हो गया.
कुमार की ‘मशाल’, ‘क्रांति’ और ‘दुनिया’ जैसी फिल्मों के लेखक अख्तर ने कहा, ‘दिलीप साहब के लिए सबसे उपयुक्त विशेषण है गरिमा. एक बेहतरीन कलाकार होने के अलावा वह गरिमा, सहृदयता और शिष्टता का प्रतीक थे. वह अपने समय से आगे थे.’
अख्तर ने कहा कि हॉलीवुड अभिनेता मार्लन ब्रांडो को ‘मेथड एक्टिंग’ के लिए जाना जाता है लेकिन कुमार उनसे बहुत आगे थे. उन्होंने कहा कि लोग मैथड एक्टिंग के लिए मार्लन ब्रांडो को श्रेय देते हैं, लेकिन वह दिलीप साब के बाद फिल्मों में आए.
बचपन में दिलीप कुमार की फिल्म की शूटिंग देखने साइकिल चलाकर गए थे शरद पवार
शरद पवार जब स्कूल के छात्र थे तब वह दिलीप कुमार की फिल्म ‘नया दौर’ की शूटिंग देखने के लिए साइकिल से पुणे जिले के जेजुरी गए थे और कई साल बाद कुमार ने पवार के लिए चुनाव प्रचार किया था. कुमार का 98 वर्ष की उम्र में बुधवार को निधन हो गया.
राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के अध्यक्ष पवार ने यहां संवाददाताओं से कहा, ‘उनसे जुड़ी मेरी कई यादें हैं. मुझे आज भी याद है जब मैं पुणे जिले में माध्यमिक की पढ़ाई कर रहा था तब हमें पता चला कि जेजुरी में नया दौर की शूटिंग चल रही थी। हम सभी साइकिल से शूटिंग देखने गए थे। तब मैंने पहली बार दिलीप कुमार को देखा था.’
पवार ने कहा कि कुमार के निधन से उन्होंने अपने पिता जैसा व्यक्तित्व खो दिया। उन्होंने कहा, ‘कई साल बाद जब मैं राजनीति में आया और सार्वजनिक जीवन में काम करने लगा, तब कुमार और मेरे बीच एक अलग तरह का रिश्ता बन गया। मेरे चुनाव प्रचार अभियान में वह एक या दो रैलियों के लिए आए थे.’
पवार ने कहा कि अभिनेता मुंबई के सार्वजनिक जीवन में सक्रिय थे और इसलिए उन्हें राज्य की राजधानी का ‘शेरिफ’ (मानद पद) बनाया गया था. पवार ने कहा कि भारत के अलावा पश्चिम एशिया में भी कुमार की ख्याति थी.
नीतीश कुमार ने बताया फिल्म जगत की अपूरणीय क्षति
बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार फिल्म स्टार दिलीप कुमार के निधन पर गहरा शोक एवं दुख व्यक्त करते हुए बुधवार को कहा कि उनका देहावसान फिल्म जगत के लिये अपूरणीय क्षति है.
नीतीश ने अपने शोक संदेश में कहा, ‘दिवंगत दिलीप कुमार हिन्दी फिल्मों के एक प्रसिद्ध और लोकप्रिय अभिनेता थे जो भारतीय संसद के उच्च सदन राज्य सभा के सदस्य रह चुके थे. उन्हें 1995 में भारतीय फिल्मों के सर्वोच्च सम्मान दादा साहब फाल्के पुरस्कार से सम्मानित किया गया था. इसके अलावा दिलीप कुमार को 1998 में पाकिस्तान का सर्वोच्च नागरिक सम्मान निशान-ए-इम्तियाज से भी सम्मानित किया गया था. उनके निधन से फिल्म जगत को अपूरणीय क्षति हुयी है.’
मुख्यमंत्री ने दिवंगत आत्मा की चिर शान्ति तथा उनके परिजनों एवं प्रशंसकों को दुःख की इस घड़ी में धैर्य धारण करने की शक्ति प्रदान करने की ईश्वर से प्रार्थना की है.