नई दिल्ली : तुर्की के लड़ाकू विमानों ने उत्तरी सीरिया के कुछ हिस्सों पर बुधवार को बम गिराए थे. भारत ने इस मुद्दे चिंता व्यक्त की है. भारत के विदेश मंत्रालय ने बयान जारी कर कहा है कि उत्तर-पूर्व सीरिया में तुर्की द्वारा एकतरफा सैन्य हमले से हम चिंतित हैं. तुर्की की कार्रवाई क्षेत्र में स्थिरता और आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई को कमजोर कर सकती है.
भारतीय विदेश मंत्रालय ने यह भी कहा, ‘इस कार्रवाई में मानवीय और नागरिक संकट पैदा करने की क्षमता भी है. हम तुर्की से संयम बरतने और सीरिया की संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता का सम्मान करने का आह्वान करते हैं. हम बातचीत और चर्चा के माध्यम से सभी मुद्दों के शांतिपूर्ण समाधान का आग्रह करते हैं.’
तुर्की को सीरिया पर हमले के लिए हमने नहीं कहा : पोम्पियो
अमेरिका के विदेश मंत्री माइक पोम्पियो ने कहा है कि सीरिया पर हमला करने के लिए तुर्की को अमेरिका ने हरी झंडी नहीं दी. बीबीसी की गुरुवार की रिपोर्ट के अनुसार, पोम्पियो ने उत्तर पूर्वी सीरिया से अमेरिकी सैनिकों को वापस बुलाने के अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के फैसले का भी बचाव किया. सैनिकों की वापसी के फैसले पर अमेरिका तथा दुनियाभर में प्रतिक्रियाएं आ रही हैं.
तुर्की ने अब कुर्दों की अगुआई वाले बलों पर हमला बोल दिया है. तुर्की के राष्ट्रपति रेसेप तैयप एर्दोगन ने कहा कि उनका लक्ष्य सीमा पर आतंकी गलियारे के निर्माण को रोकना है. तुर्की सेना की योजना कुर्दिश लड़ाकों से मुक्त सुरक्षित क्षेत्र बनाने की है, जिसमें सीरियाई शरणार्थियों को रखा जाएगा.
कुर्दों की अगुआई वाले बलों ने हमलों का जवाब देने का प्रण कर लिया है और वे तुर्की के जवानों से पहले ही भिड़ गए थे.
अमेरिकी सेना ने कहा है कि उसने आईएस की लगभग 30 पश्चिमी बंधकों को प्रताणित करने और उनकी हत्या करने वाली शाखा में अपनी भूमिका के लिए कुख्यात, दो ब्रिटिश बंधकों को हिरासत में लिया है. अल शफी एलशेख और एलेक्जांडा कोटे द बीटल्स उपनाम की ब्रिटिश सेल के अंग थे. उन्हें अब उत्तरी सीरिया में कुर्दिश लड़ाकों द्वारा चलाई जा रही जेल से निकाल दिया गया है.
अमेरिकी प्रसारणकर्ता पीबीएस को दिए साक्षात्कार में पोम्पियो ने अमेरिकी सेना को अचानक वापस बुलाने के ट्रंप के निर्णय का बचाव किया. उन्होंने कहा कि तुर्की में सुरक्षा संबंधी चिंता है और उसके दक्षिण में आतंकवादी हमले की संभावना है. उन्होंने कहा कि अमेरिका द्वारा तुर्की को हमला करने की अनुमति दिए जाने की खबर बिल्कुल गलत है. अमेरिका ने तुर्की को हरी झंडी नहीं दिखाई है.
(आईएएनएस के इनपुट्स के साथ )