वाशिंगटन: अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प के प्रशासन ने सोमवार को एक बड़ा नीतिगत फैसला करते हुए दक्षिण चीन सागर में चीन के क्षेत्रीय दावे को स्पष्ट रूप से खारिज करते हुए कहा कि उसके पास क्षेत्र में अपनी इच्छा मनमाने तरीके से लागू करने का कोई कानूनी आधार नहीं है.
अमेरिका ने कहा कि चीन के ‘दुनिया को हड़पने’ के नजरिए की 21वीं सदी में कोई जगह नहीं है.
अमेरिका के विदेश मंत्री माइक पोम्पिओ ने नीति संबंधी बड़ी घोषणा करते हुए कहा, ‘दुनिया बीजिंग को इस बात की अनुमति नहीं देगी कि वह दक्षिण चीन सागर को अपना समुद्री साम्राज्य समझे. अमेरिका अपतटीय संसाधनों पर हमारे दक्षिणपूर्वी एशियाई सहयोगियों और साझीदारों के सम्प्रभु अधिकारों की रक्षा करने के लिए उनके साथ खड़ा है. उनके ये अधिकार अंतरराष्ट्रीय कानून के तहत उनके अधिकारों एवं दायित्वों के अनुरूप हैं.’
अमेरिका ने कहा कि वह समुद्रों की सुरक्षा और सम्प्रभुता के सम्मान की रक्षा के लिए अंतरराष्ट्रीय समुदाय के साथ खड़ा है और दक्षिण चीन सागर एवं वृहद क्षेत्र में ‘ताकतवर की हर चीज जायज’ होने की बात खारिज करता है.
यह भी पढ़ें: विकास दुबे प्रकरण के बाद योगी सरकार की अब यूपी के टाॅप माफियाओं पर नज़र टेढ़ी, खंगाल रही है कुंडली
पोम्पिओ ने कहा कि चीन समुद्री दावों को कानूनी तौर पर लागू नहीं कर सकता.
उन्होंने कहा, ‘हम स्पष्ट करते हैं- अधिकतर दक्षिण चीन सागर में अपतटीय संसाधनों पर बीजिंग का दावा पूरी तरह गैर कानूनी है.’
पोम्पिओ ने कहा कि चीन के दुनिया पर कब्जा करने के नजरिए का 21वीं सदी में कोई स्थान नहीं है.
ट्रम्प प्रशासन की इस घोषणा का कई अमेरिकी सांसदों ने स्वागत किया.