नई दिल्लीः पाकिस्तान को बड़ा झटका लगा है. एफएटीएफ के अध्यक्ष मार्कस प्लीयर ने कहा है कि पाकिस्तान अभी भी एफएटीएफ की ‘ग्रे लिस्ट’ में शामिल रहेगा. इसे अभी बाहर नहीं किया जाएगा.
एफएटीएफ के अध्यक्ष ने कहा, ‘मुख्य मुद्दा जिस पर पाकिस्तान को अभी ध्यान देना है, वह है, हाफिज सईद, मसूद अजहर जैसे संयुक्त राष्ट्र में सूचीबद्ध आतंकवादियों के खिलाफ कार्रवाई करना, जिसमें पाकिस्तान विफल रहा है.’
इसके अलावा उन्होंने कहा कि पाकिस्तान सरकार मनी लॉन्ड्रिंग और आतंकवाद के फंडिंग को भी रोकने में नाकाम रही है.
एफएटीएफ के अध्यक्ष मार्कस प्लीयर ने कहा, ‘पाकिस्तान अभी भी वैश्विक एफएटीएफ स्टैंडर्ड्स को कई क्षेत्रों में लागू करने में विफल रही है जिसकी वजह से मनी लॉन्ड्रिग का काफी खतरा है. इसकी वजह से भ्रष्टाचार और संगठित अपराध में बढ़ोत्तरी हो सकती है.’
बता दें कि पाकिस्तान को जून 2018 में ग्रे सूची में डाल दिया गया था और इस्लामाबाद से धनशोधन एवं आतंकवाद को धन मुहैया कराए जाने पर 2019 के अंत तक रोक लगाने के लिए कार्य योजना लागू करने को कहा था. लेकिन, कोविड 19 महामारी को देखते हुए बाद में इस समय सीमा को बढ़ा दिया गया था.
हालांकि, पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने गुरुवार को कहा था कि पाकिस्तान ने एफएटीएफ की 27 शर्तों को पूरा कर लिया है इसलिए, ‘पाकिस्तान को ग्रे सूची में रखे रहने का कोई आधार नहीं है.
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